17 नवंबर को चीफ जस्टिस रंजन गोगोई रिटायर ;जाते-जाते सुनाएंगे ऐतिहासिक फैसला

HIGH LIGHT; भाजपा नेता और उन्नाव से सांसद साक्षी महाराज ने घोषणा की है कि अयोध्या में राम मंदिर का निर्माण छह दिसंबर से शुरू # साक्षी महाराज ने कहा, “यह तर्कसंगत है कि मंदिर का निर्माण उसी तारीख को शुरू होना चाहिए, जब ढांचा गिराया गया था #. उन्होंने कहा कि अयोध्या में दो दिवाली मनाई जाएंगी. उन्होंने कहा कि एक दिवाली प्रभु श्रीराम के आने पर मनाई जाती है. दूसरी भगवान राम के पक्ष में आने वाले फैसले पर मनाई जाएगी. # अयोध्या मामले के संभावित फैसले के मद्देनजर सभी पुलिस-प्रशासन के अधिकारियों की छुट्टियां रद्द # 30 नवंबर तक के लिए सभी अधिकारियों की छुट्टियां रद्द करने का फरमान # सभी अधिकारियों को मुख्यालय में बने रहने के निर्देश दिए # अयोध्या में 10 दिसंबर तक धारा 144 लागू # सुप्रीम कोर्ट के संभावित फैसले से पहले उत्तर प्रदेश में सुरक्षा के मद्देनजर योगी सरकार ने कमर कस ली # HIMALAYAUK Leading Web & Print Media ;

   अयोध्या केस रेयरेस्ट और रेयर मामलों में से एक है। सबसे पहले जब भी कोई फरियादी या याचिकाकर्ता कोर्ट आता है तो वो न्याय की मांग करता है कि उसको यहां से इंसाफ मिले। ऐसे में कोर्ट का कर्तव्य होता है कि वो सभी के साथ पूरा न्याय करे। अयोध्या मामले में इलाहाबाद हाईकोर्ट फैसले के खिलाफ दोनों पक्ष कोर्ट पहुंचे थे और अपने अपने याचिकाए दायर की थी। आखिर किसका इस जमीन पर मालिकाना हक है।

उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने अयोध्या मामले के संभावित फैसले के मद्देनजर सभी पुलिस-प्रशासन के अधिकारियों की छुट्टियां रद्द कर दी हैं. योगी सरकार ने 30 नवंबर तक के लिए सभी अधिकारियों की छुट्टियां रद्द करने का फरमान जारी कर दिया है. छह  अगस्‍त से चल रही नियमित सुनवाई सभी पक्षों की दलीलें पूरी होने के बाद पूरी हो गई. इसके साथ ही सुप्रीम कोर्ट ने फैसला सुरक्षित रख लिया है. कहा जा रहा है कि 17 नवंबर से पहले फैसला आ सकता है. ऐसा इसलिए क्‍योंकि 17 नवंबर को चीफ जस्टिस रंजन गोगोई रिटायर होने वाले हैं. वह इस केस की सुनवाई के लिए गठित संविधान पीठ के मुखिया हैं. 

व: भाजपा नेता और उन्नाव से सांसद साक्षी महाराज ने घोषणा की है कि अयोध्या में राम मंदिर का निर्माण छह दिसंबर से शुरू हो जाएगा. संयोग से छह दिसंबर वह तारीख है, जब 1992 में अयोध्या में बाबरी मस्जिद को ध्वस्त कर दिया गया था. इसके साथ ही साक्षी महाराज ने कहा कि सारे विश्व की और हिंदुस्तान के सभी धर्माचार्यों की निगाहें और मैं तो कहूंगा कि देवी-देवताओं की भी निगाहें माननीय सुप्रीम कोर्ट के ऊपर थीं. उन्होंने कहा कि शिया वक्फ बोर्ड ने पहले ही कह दिया था. सुन्नी वक्फ बोर्ड ने भी जो फैसला लिया है, इसके लिए सभी मुस्लिम भाइयों का धन्यवाद करता हूं.  साक्षी महाराज नमे कहा कि चार हफ्ते में जो निर्णय आएगा, वो भगवान राम के पक्ष में ही आएगा. उन्होंने कहा कि ऊपर भगवान है और धरती पर जज भगवान हैं, तो नीचे वाले भगवान, ऊपर वाले भगवान के पक्ष में ही फैसला करेंगे. उन्होंने कहा कि अयोध्या में दो दिवाली मनाई जाएंगी. उन्होंने कहा कि एक दिवाली प्रभु श्रीराम के आने पर मनाई जाती है. दूसरी भगवान राम के पक्ष में आने वाले फैसले पर मनाई जाएगी. 

यूपी सरकार ने फील्ड में तैनात सभी अफसरों की छुट्टियां रद्द कर दी हैं. बताया जा रहा है कि योगी सरकार ने आदेश में सभी अधिकारियों को मुख्यालय में बने रहने के निर्देश दिए हैं. बता दें कि अयोध्या मामले में फैसले के मद्देनजर योगी सरकार ने पहले ही अयोध्या में 10 दिसंबर तक धारा 144 लागू कर दी थी.

सुप्रीम कोर्ट में अयोध्या मामले की सुनवाई आखिरी दौर में चल रही है. आज सुनवाई का आखिरी दिन है. सुप्रीम कोर्ट के संभावित फैसले से पहले उत्तर प्रदेश में सुरक्षा के मद्देनजर योगी सरकार ने कमर कस ली है. योगी सरकार ने फील्ड में तैनात सभी अफसरों की छुट्टियां रद्द कर दी हैं. इसी के साथ अयोध्या में भी पुलिस, अर्धसैनिक बल और जल पुलिस की तैनाती की जा रही है. 

सुनवाई के दौरान एक चीज सामने आई है, जिसे मोल्डिंग ऑफ रिलीफ कहा जा रहा है।  साफ शब्दों में है कि जो भी पक्ष हारता है तो उसे भी कोर्ट कुछ ना कुछ देगा। ताकि सभी को पूरा इंसाफ मिल सके। सूत्रों के मुताबिक कोर्ट जमीन का दावा हारने वाले व्यक्ति को अन्य स्थान पर जमीन देने का निर्देश सरकार को दे सकता है। ताकि पक्ष अपने धार्मिक स्थल का निर्माण करा सके। लेकिन दोनों पक्ष कोर्ट में मांग कर रहें। मुस्लिम पक्ष कह रहा है कि हमें तो 1992 जैसी ही बाबरी मस्जिद चाहिए तो वहीं हिंदू कह रहे हैं कि उन्हें राम जन्मभूमि का स्थान ही चाहिए। अयोध्या मामले में शामिल हिंदू पक्ष का कहना है कि जो मस्जिद के नीचे एक हिंदू मंदिर मिला है वो ही जन्मस्थान या भगवान राम पर हिंदू आस्था और विश्वास की पहचान को पुख्ता करते हैं।

वहीं, अयोध्या में दीपावली पर प्रस्तावित दीपोत्सव कार्यक्रम को लेकर भी तैयारियां तेज कर दी गई हैं. इस बार दीपोत्सव में पांच लाख 51 हजार दीप जगमगाएंगे. तैयारियों का जायजा लेने के लिए यूपी सरकार के मुख्य सचिव, अपर मुख्य सचिव गृह और डीजीपी सोमवार को अयोध्या पहुंचे थे. अयोध्या फैसला और दीपोत्सव के मद्देनजर अयोध्या में अतिरिक्त पुलिस फोर्स की तैनाती की गई है. पीएसी के साथ ही 3 जोन से पुलिस फोर्स की डिमांड भेजी गई है. दीपोत्सव की सुरक्षा के लिए 7 एडिशनल एसपी, 20 सीओ, 20 इंस्पेक्टर, 70 सब इंस्पेक्टर, 500 सिपाही और 7 कंपनी पीएसी तैनात रहेगी.

सांसद साक्षी महाराज ने इसे लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृहमंत्री अमित शाह की भी तारीफ की. उन्होंने कहा कि अयोध्या के मसले को लोगों ने उलझा कर रखा था. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और गृहमंत्री अमित शाह ने जैसे चुटकियों में जम्मू कश्मीर का समाधान कर दिया. उसी तरह मंदिर पर फैसला आने के बाद एक पत्ता तक नहीं हिलेगा. उन्होंने कहा कि हिंदू और मुसलमान सब इसका स्वागत करेंगे. 

इसके साथ ही साक्षी महाराज ने कहा, “यह तर्कसंगत है कि मंदिर का निर्माण उसी तारीख को शुरू होना चाहिए, जब ढांचा गिराया गया था.” साक्षी महाराज ने कहा, “यह सपना प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी, गृह मंत्री अमित शाह और उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ के प्रयासों के कारण साकार होने जा रहा है.” उन्होंने कहा कि मंदिर निर्माण में मदद के लिए हिंदू और मुस्लिमों को एक साथ आना चाहिए. उन्होंने कहा, “सुन्नी वक्फ बोर्ड को इस तथ्य को स्वीकार करना चाहिए कि बाबर एक हमलावर था और उनका पूर्वज नहीं था.”

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