कांग्रेस में कार्यकर्ता अहम नही, भाजपा में कार्यकर्ता की अहमियत ;किसने कहा

HARISH VIREN

”भाजपा कैडर आधारित पार्टी है और कांग्रेस आंदोलन से निकली है, इसलिए बड़ा अंतर है। भाजपा में मैंने देखा कि कुछ बड़े नेताओं की तुलना में कार्यकर्ता की अहमियत है। यह बेसिक अंतर है। कांग्रेस में हो सकता है कार्यकर्ता अहम ना हो।”  Execlucive Statement: www.himalayauk.org (UK Leading Digital Newsportal & Print Media)

केंद्रीय ग्रामीण विकास मंत्री चौधरी बीरेंदर सिंह ने हाल ही में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ओर से मंत्रियों के कामकाज को लेकर कराए गए ऑनलाइन सर्वे से अलग राय रखी है।  केंद्रीय ग्रामीण विकास मंत्री चौधरी बीरेंदर सिंह ने हाल ही में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी की ओर से मंत्रियों के कामकाज को लेकर कराए गए ऑनलाइन सर्वे से अलग राय रखी है। उनका कहना है कि किसी के काम की परख का सबसे बढि़या तरीका आंखों से देखना होता है। इंडियन एक्‍सप्रेस के ‘आइडिया एक्‍सचेंज’ के दौरान इस संबंध में पूछे गए सवाल पर उन्‍होंने कहा, ”मैं इस मामले में ज्‍यादा नहीं जाना चाहूंगा क्‍योंकि इसमें काफी सारी चीजें शामिल होती है। साथ ही यह भी इस पर भी निर्भर करता है कि कौन कितना जानकार है। किसी को जांचने का सबसे बढि़या तरीका है आंखों से देखना।” सर्वे की जानकारी के बारे में सिंह ने कहा, ”यह सरकार की रेटिंग नहीं है। अलग-अलग सर्वे और एजेसिंयों, लोगों और जानकारों से यह रेटिंग ली गई। यह एक प्रक्रिया के तहत किया गया।” हालांकि उन्‍होंने सर्वे की विश्‍वसनीयता पर सवाल उठाया। मंत्री ने कहा, ”मैं इनमें विश्‍वास नहीं करता। हो सकता है कि यह वैज्ञानिक सर्वे हो लेकिन यह एक व्‍यक्ति के दिमाग को नहीं पढ़ सकते।”   बीरेंदर सिंह 40 साल तक कांग्रेस में रहे थे। साल 2014 में आम चुनावों से पहले वे भाजपा में शामिल हुए थे। भाजपा और कांग्रेस में अंतर के सवाल पर उन्‍होंने बताया, ”भाजपा कैडर आधारित पार्टी है और कांग्रेस आंदोलन से निकली है, इसलिए बड़ा अंतर है। भाजपा में मैंने देखा कि कुछ बड़े नेताओं की तुलना में कार्यकर्ता की अहमियत है। यह बेसिक अंतर है। कांग्रेस में हो सकता है कार्यकर्ता अहम ना हो।”  भाजपा में तालमेल बैठाने के बारे में पूछे जाने पर उनका जवाब था, ”हां, यहां अलग तरीका था। तालमेल बैठाना इस बात पर निर्भर करता है कि क्‍या आप उन चीजों से चिपके रहते हैं तो आपके साथ चली आ रही है। लेकिन अगर आप संतुलन बैठाना चाहते हैं तो आप ऐसा कर सकते हैं। मेरा दृढ़ निश्‍चय मेरे काम आया।”

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