सावन के महीने में पूजा-पाठ का विशेष महत्व- अजय भट्ट; खबर का असर
सावन में भोलेनाथ की पूजा का बड़ा महात्म है, प्राचीन काल से राजपक्ष की और से प्रजा की खुशहाली के लिए सावन में विशेष अनुष्ठान कराये जाते रहे है; उत्तराखंड देवभूमि में कण-कण में शिव है, इसके बावजूद राज्य की खुशहाली, सुरक्षित प्रदेश के लिए कोई धार्मिक अनुष्ठान की राज्य के मुखिया की और से कभी कोई पहल नहीं की गई,
जबकि मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे का धार्मिक अनुष्ठान ।खुशहाली के लिए सावन माह में प्रत्येक सोमवार को होते हैं अनुष्ठान।
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25 जुलाई को पुष्कर तीर्थ में जब वसुंधरा राजे की सरकार की ओर से धार्मिक अनुष्ठान हुआ। मुख्यमंत्री के निर्देश पर ही पुष्कर के ग्वालियर घाट स्थित कोटेश्वर महादेव मंदिर में सोमवार 25 जुलाई को रुद्राभिषेक का आयोजन किया गया था। यह मंदिर मुख्यमंत्री के सिंधिया परिवार का ही है। यहां सावन माह में प्रत्येक सोमवार को मुख्यमंत्री की ओर से धार्मिक अनुष्ठान किया जा रहा है। इसका उद्देश्य प्रदेश में शांति और खुशहाली बनाए रखना है। सावन माह में देवास्थान विभाग मुख्यमंत्री की ओर से प्रदेश के प्रमुख मंदिरों में ऐसे धार्मिक अनुष्ठान करवाता है।
समाचार पत्रों में भी अनुष्ठान की खबर प्रकाशित करवाई जाती है।
माँ बगुलामुखी माई के सत्य साधक ने चंद्र शेखर जोशी संपादक को बताया की वो शीघ्र देवभूमि में शांति, खुशहाली के लिए धार्मिक अनुष्ठान करेगे
वही दूसरी ओर हिमालयायूके न्यूज पोर्टल की खबर का असर हुआ- ज्ञात हो कि 26 जुलाई की प्रात- से हिमालयायूके न्यूज पोर्टल ने देवभूमि में सावन की पूजा की उपेक्षा की खबर प्रकाशित की थी, इसका संज्ञान लेते हुए- भाजपा नेता अजय भटट का बयान आया है कि
सावन के महीने में पूजा-पाठ का विशेष महत्व. प्रदेश की सुख शान्ति की कामना – पूजा-पाठ और कथा; अजय भट्ट
नेता प्रतिपक्ष एवं प्रदेश अध्यक्ष भा०ज०पा० उत्तराखण्ड श्री अजय भट्ट ने कारगिल विजय दिवस के अवसर पर शहीदों को श्रद्धांजलि देते हुए कहा कि यह दिन भारत के इतिहास में खुशी का अध्याय जोडने वाला था तो दूसरी ओर कई शहीदों ने अपनी कुर्बानी दी थी जिसे भुलाया नहीं जा सकता है।
श्री भट्ट ने कहा कि उनके द्वारा विगत २१ जुलाई से रानीखेत शिव मन्दिर में श्रीमदभागवत कथा का अयोजन किया गया है। उनके द्वारा नित्य प्रातः ०८ः०० बजे से १२ः०० बजे तक पूजा पाठ तथा १२ः०० बजे से ०३ः०० बजे तक जनता मिलन एवं क्षेत्रीय जनसमस्याओं का निराकरण ०३ः०० बजे से ०७ः०० बजे तक कथा श्रवण एवं भजन कीर्तन तथा सांय ०७ः०० बजे से रात्रि १०ः०० बजे तक पुनः जनमिलन एवं जनसमस्याओं का समाधान किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि सावन के महीने में पूजा-पाठ का विशेष महत्व होता है इसलिए प्रदेश की सुख शान्ति की कामना करते हुए उनके द्वारा अपनी पूज्य माता जी स्व० श्रीमती तुलसी देवी जी की स्मृति में यह कथा का आयोजन करने का फैसला लिया गया।
श्री भट्ट ने कहा कि पूजा-पाठ और कथा के अतिरिक्त वह प्रतिदिन ५-६ घण्टे तक जनता मिलन का कार्यक्रम भी कर रहे हैं ताकि जनसमस्याओं की सुनकर जनता की समस्याओं का भी निराकरण करने का प्रयास हो सके।
उन्होंने कहा कि आज कारगिल विजय दिवस के अवसर पर उन्होंने रानीखेत शिव मन्दिर कथा प्रांगण में अमर शहीदों को श्रद्धासुमन अर्पित करते हुए सभी कथा श्रोताओं द्वारा मौन रखकर शहीदों को श्रद्धांजलि दी गयी।
श्री भट्ट ने कहा कि श्रीमदभागवत कथा के आयोजन से मन को शांति एवं सुख की अनुभूति होती है उनके द्वारा नित्य प्रतिदिन पूजा-पाठ में प्रदेश एवं देश की खुशहाली तथा शान्ति की प्रार्थना की जाती है।