हनुमान जयंती 27 अप्रैल, मंगल- कुछ विशेष उपाय संकटों का नाश कर मनोकामना पूरी करते है
27 अप्रैल, दिन मंगलवार के शुभ योग ;;पूर्णिमा का दिन अत्यंत शुभ माना गया है. इस तिथि में शुभ योग भी बन रहे हैं. भगवान शिव, भगवान राम और हनुमान जी की पूजा का विशेष संयोग का निर्माण भी हो रहा है. चंद्रमा को जल दें. – हनुमान चालीसा, सुंदरकांड और रामरक्षा स्त्रोत का पाठ करें. by Himalayauk Newsportal & Daily Newspaper 9412932030
हनुमान जयंती 27 अप्रैल, दिन मंगलवार के शुभ योग में है। इस बार हनुमान जयंती मंगलवार के शुभ योग में आ रही है, मंगलवार का दिन हनुमान जी की भक्ति का दिन है जिस कारण इस दिन हनुमान जी की पूजा का महत्व अधिक बढ़ जाएगा। पंचांग के अनुसार इसी दिन सिद्धि योग और व्यतीपात योग का निर्माण भी हो रहा है। सिद्धि योग 27 अप्रैल को शाम 08 बजकर 03 मिनट तक रहेगा।हनुमान जयंती के दिन विधि विधान से पूजा की जाये तो जीवन के सारे दुख समाप्त हो जाते हैं और सभी मनोकामनाएं पूर्ण होती हैं।हनुमान जयंती के दिन हनुमान जी के समक्ष मात्र एक सरसों के तेल का दीपक प्रज्ज्वलित कर हनुमान जी के समाने रखने से स्वास्थ्य संबंधी दोष दूर होते हैं।
Hanuman Jayanti 2021 :हिन्दू पंचांग के अनुसार, हर साल चैत्र माह की पूर्णिमा तिथि को हनुमान जयंती मनायी जाती है। हनुमान जी के भक्तों को तो विशेषकर इस दिन का बेसब्री से इंतजार रहता है। कहा जाता है कि हनुमान जी अपने भक्तों पर हमेशा ही कृपा रखते हैं और उन्हें संकटों से उबारते हैं। चैत्र शुक्ल पूर्णिमा के दिन ही हनुमान जी का जन्म हुआ माना जाता है इसलिए इस दिन को उनका जन्मोत्सव मनाया जाता है, लेकिन यदि आप हनुमान जयंती पर हनुमान जीकी पूजा-आराधना के साथ कुछ विशेष उपाय को करते हैं तो आपके जीवन में आ रहे संकटों का नाश होकर आपकी हर मनोकामना पूरी होती है।
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Chaitra Purnima 2021 Date: पंचांग के अनुसार 27 अप्रैल मंगलवार को चैत्र शुक्ल की पूर्णिमा तिथि है. इस दिन चैत्र पूर्णिमा के पर्व के साथ हनुमान जयंती भी है. हनुमान जयंती का पर्व हनुमान जी के जन्मोत्सव के रूप में मनाते हैं. हनुमान जी शिव के रूद्र अवतार कहलाते हैं. रामचरित मानस में इसका वर्णन मिलता है. भगवान शिव को आदि भी कहा गया है. पूर्णिमा की तिथि में चंद्रमा की पूजा के साथ भगवान शिव की भी पूजा को अत्यंत शुभ फलदायी माना गया है.
मंगलवार का दिन हनुमान जी का सबसे प्रिय दिन है. पौराणिक कथा के अनुसार भगवान राम का जन्म भी मंगलवार के दिन हुआ था. हनुमान जी भगवान राम के परम भक्त हैं. हनुमान जी का जन्म भी मंगलवार के दिन ही हुआ था. इसलिए मंगलवार का दिन हनुमान जी को समर्पित है.
हनुमान जी की पूजा प्रभु श्रीराम के बिना अधूरी मानी जाती है. भगवान राम की पूजा करने से हनुमान जी की विशेष कृपा प्राप्त होती है. हनुमान जयंती पर भगवान राम की पूजा भी की जाती है.
पूर्णिमा का दिन अत्यंत शुभ माना गया है. इस तिथि में शुभ योग भी बन रहे हैं. भगवान शिव, भगवान राम और हनुमान जी की पूजा का विशेष संयोग का निर्माण भी हो रहा है. चंद्रमा को जल दें. – हनुमान चालीसा, सुंदरकांड और रामरक्षा स्त्रोत का पाठ करें.
हनुमान जयंती इस साल 27 अप्रैल दिन मंगलवार को मनायी जाएगी। हनुमान जी के भक्त पूरी श्रद्धा से इस दिन का इंतजार करते हैं। इस दिन हनुमान जी को प्रसन्न करने के लिए भक्त, रामायण, रामचरित मानस का अखंड पाठ, सुंदरकांड का पाठ, हनुमान चालीसा, बजरंग बाण, हनुमान बाहुक का पाठ करते हैं। इस दिन वास्तु के हिसाब से किए गए उपायों से बजरंग बली प्रसन्न होते हैं। वहीं वास्तु के अनुसार घर की बनावट, उसकी दिशा, घर के सामान, पेड़ पौधे बताते हैं कि आपका घर किस ग्रह के प्रभाव में है। वास्तु के अनुसार ऐसा न करने पर लोगों को तमाम तरह की परेशनियों का सामना करना पड़ता है।
हनुमान जयंती के अवसर पर भूखण्ड, भवन या कार्यस्थल के दक्षिण-पश्चिम कोण में पहाड़ लिए हुए हनुमान जी की ध्वजा लगाएं। वास्तु अनुसार घर में प्रभु श्रीराम के पैरों में बैठे हनुमान जी की तस्वीर लगानी चाहिए। इससे परिवार के सदस्यों के बीच प्यार और विश्वास बढ़ता है। लाल रंग के हनुमान जी की बैठी हुई मुद्रा में तस्वीर घर के दक्षिण दिशा में लगाने से नकारात्मक ऊर्जा दूर होती हैं। इसके साथ ही घर में सुख-शांति आती है।
मई में ग्रहों की जो स्थिति बनने जा रही है वह बड़े परिवर्तनों की ओर इशारा
Himalayauk Special: मई में ग्रहों की जो स्थिति बनने जा रही है वह बड़े परिवर्तनों की ओर इशारा कर रही है। प्राकृतिक घटनाएं होगी। भूकंप आने की संभावना है। राजनीति में बड़े स्तर पर परिवर्तन देखने को मिलेगा। मनुष्य के जीवन में जो भी घटनाएं घटित होती हैं। उनका कारण ग्रहीय दशा, गोचर, उनकी चाल है। सौरमंडल में बैठे ग्रह ही यह निर्धारित करते हैं कि आने वाला समय कैसा होगा और मनुष्य जीवन पर इसका क्या प्रभाव पड़ेगा। मई का महीना ग्रहों के लिहाज से भारी फेरबदल वाला साबित होगा। ज्योतिषीय गणना और हिंदू पंचांग के अनुसार मई के महीने में सूर्य, शुक्र, बुध की स्थितियों में बदलाव होगा। 01 मई 2021 को बुध वृषभ राशि में चले जाएंगे, 04 मई को शुक्र भी वृषभ में प्रवेश करेंगे और वहीं 14 मई को सूर्य राशि परिवर्तन करेंगे। ग्रहों-नक्षत्रों के राशि परिवर्तन का सीधा असर व्यक्ति की राशि पर पड़ता है। कई बार ग्रहों की चाल बदलने से जातक को शुभ फलों की प्राप्ति होती है तो कई बार उतार-चढ़ाव का सामना करना पड़ता है। मई में होने वाले ग्रहों के राशि परिवर्तन का असर पडेगा।
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