स्वास्थ्य सेवाएं बदहाली के कगार पर
उत्तराखंड राज्य अवस्थापना विकास निगम से हल्दूचौड़ स्थित 30 बेड का अस्पताल सात करोड़ 89 लाख 6 हजार रुपये जबकि लालकुआं का 10 बेड का अस्पताल तीन करोड़ 62 लाख 4 हजार रुपये की धनराशि से बनाया जाना है। बजट के अभाव में अस्पतालों का निर्माण कार्य अधर में लटका हुआ है।
# Coverage by www.himalayauk.org (Leading Digital Newsportal) Bureau Report: Dt 27 Nov. 2017
स्वास्थ्य सेवाओं के प्रति सरकार उदासीन
अधर में लटका अस्पताल का निर्माण
पूर्व कैबीनेट मंत्री हरीश चन्द्र दुर्गापाल ने लालकुआं व हल्दूचौड में अस्पताल की रखी थी आधारशिला
मोहन जोशी,लालकुआं। सरकार व जनप्रतिनियों की उदासीनता के चलते लालकुआं विधानसभा क्षेत्र में स्वास्थ्य सेवाएं बदहाली के कगार पर है। 3 लाख से अधिक आबादी वाले क्षेत्र में एक भी ऐसा अस्पताल नहीं है जिसमे मरीजों को सही उपचार मिल सके। 3 लाख से अधिक लोगों का स्वास्थ्य लालकुआं हल्दूचौड़ में निर्माणाधीन अस्पतालों पर टिका हुआ है। कछुआ गति से बनाए जा रहे उक्त अस्पतालों का निर्माण कब पूरा होगा जनता के बीच अब यह सवाल उठने लगे है। गौरतलब है कि पूर्व कैबिनेट मंत्री हरीश चंद्र दुर्गापाल ने क्षेत्रवासियों की स्वास्थ्य संबंधी समस्याओं के निराकरण हेतु 7 मई 2015 को हल्दूचौड़ में 30 बेड व लालकुआं में 10 बेड के अस्पताल की आधारशिला रखी थी। अस्पतालों का निर्माण कार्य पूरा करने के लिए निर्धारित 18 माह की समय सीमा तय की गई । इसे स्वास्थ्य सेवाओं के प्रति सरकार व जनप्रतिनियों की उदासीनता ही कहेंगे कि इन ढाई सालों में अस्पताल का आधा निर्माण भी नहीं हो पाया है। उत्तराखंड राज्य अवस्थापना विकास निगम से हल्दूचौड़ स्थित 30 बेड का अस्पताल सात करोड़ 89 लाख 6 हजार रुपये जबकि लालकुआं का 10 बेड का अस्पताल तीन करोड़ 62 लाख 4 हजार रुपये की धनराशि से बनाया जाना है। बजट के अभाव में अस्पतालों का निर्माण कार्य अधर में लटका हुआ है। कार्यदायी संस्था के अधिकारियों का कहना है कि पर्याप्त मात्रा में धनराशि उपलब्ध न होने के कारण धीमी गति से अस्पताल का निर्माण किया जा रहा है। यदि यही स्थिति रही तो निर्माण कार्य पूर्ण होने में कई बरस और लग जाएंगे। विदित हो कि लाखों की आबादी वाले क्षेत्र लालकुआं, बिन्दुखत्ता, हल्दूचौड में अस्पताल की सुविधा न होने के कारण यहां के लोगों को उपचार के लिए हल्द्वानी या बरेली के चक्कर काटने पड़ते हैं। आए दिन गंभीर व दुर्घटनाग्रस्त लोग रास्ते में ही दम तोड़ देते है। अस्पताल के अभाव में ग्रामीणों का दूरस्थ क्षेत्रों की गर्भवती महिलाओं को भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ता है। हांलाकि लालकुआं -बिंदुखत्ता में अति प्राथमिक स्वास्थ्य केंद्र खोले गए हैं। लेकिन रात्रिकालीन सेवा व अन्य संसाधनों के अभाव के कारण यह केवल सर्दी जुखाम के उपचार तक ही सीमित रह गए हैं।
बहरहाल आम जनता की निगाहें हल्दूचौड व लालकुआं में निर्माणाधीन अस्पतालों पर टिकी हुई है।
बजट के अनूरूप किया जा रहा है निर्माण-सेमवाललालकुआं। उत्तराखण्ड राज्य अवस्थापना विकास निगम के प्रबंध निदेशक मनोज कुमार सेमवाल ने बताया कि हल्दूचौड स्थित अस्पताल के बेसमेंट का निर्माण कार्य पूर्ण हो गया है। जबकि लालकुआं के अस्पताल का निर्माण अन्तिम चरण में है।
उन्होने़ अस्पताल के निर्माण में हो रही देरी के बावत बताया कि पर्याप्त बजट नहीं आने के कारण कार्य मंद गति से चल रहा है
यदि बजट मिल जाए तो तीन माह में निर्माण कार्य पूर्ण किया जा सकता है।
अस्पताल निर्माण कार्य शीघ्र पूर्ण न होने पर करेगेंं आंदोलन-हेमवतीनंदन
लालकुआं। युवा कांग्रेस नेता हेमवतीनंदन दुर्गापाल का कहना है कि भाजपा सरकार आने के उपरांत अस्पताल का निर्माण कार्य ठप पड़ गया है। उन्होने कहा कि पूर्व कैबीनेट मंत्री हरीश चंद्र दुर्गापाल के अथक प्रयासों से हल्दूचौड में 30 बेड व लालकुआं में 10 बेड का अस्पताल खोला गया। लेकिन वर्तमान सरकार अस्पतालों का निर्माण कार्य पूर्ण करवाने में उदासीनता बरत रही है। उन्होंने चेतावनी देते हुए कहा कि यदि शीघ्र उक्त अस्पतालों का निर्माण कार्य पूर्ण नहीं किया जाता है तो उन्हें आंदोलन करने को मजबूर होना पड़ेगा।
फोटोज। निर्माणाधीन अस्पताल