सतपाल महाराज को सूबे की राजनीति में उतारा; सीधा सा संकेत
सांसदों को टिकट नही 64 प्रत्यााशियों की घोषणा 6 पर मंथन, धर्मपुर में विनोद चमोली तथा उमेश अग्रवाल का नाम तय करने में असमंसजस की स्थिति -उकांद से आये नेताओं का टिकट काटा www.himalayauk.org (HIMALAYA GAURAV UTTRAKHAND) हिमालययूके न्यूज पोर्टल के लिए चन्द्रशेखर जोशी सम्पादक की रिपोर्ट –
भाजपा के केन्द्रीय कार्यालय नई दिल्ली से उत्तराखण्ड विधान सभा चुनाव हेतु ६४ प्रत्याशियों की सूची जारी कर दी गयी, इसमें यमकेश्वर विधान सभा से विजय बडथ्वाल का टिकट काट दिया गया, वही रुद्रप्रयाग से दिवाकर भटट को टिकट नही दिया गया है वही ओमगोपाल रावत को नरेन्द्र नगर से टिकट नही दिया गयाः यशपाल आर्य को बाजपुर तथा उनके पुत्र संजीव आर्य को भी नैनीताल सुरक्षित सीट से दिकट दिया गया है, जबकि इसमें सबसे महत्वपूर्ण बात हुई है कि सूबे की राजनीति में सतपाल महाराज को उतार दिया गया हैः चौबटटाखाल से तीरथ सिंह रावत को टिकट नही दिया गया, इस सीट पर सतपाल महाराज को उतारा गया हैःः हिमालय गौरव उत्तराखण्ड ने एक सप्ताह पूर्व ही अपने आलेख में कहा था कि सतपाल महाराज को सूबे की राजनीति में उतारा जायेगा और वह सूबे के प्रमुख भी हो सकते हैं, जो कमोबेश सही साबित हुईः
सितारगज से विजय बहुगुणा के पुत्र सौरभ बहुगुणा को भाजपा ने टिकट दिया है, जबकि बीसी खण्डूडी की पुत्री को भी टिकट देकर वर्तमान विधायक का टिकट काट दिया गया, किच्छा से राजेश शुक्ला को ही टिकट मिला है, उनका टिकट कटने की कई बार अफवाह चली, जसपुर से शैलेन्द्र मोहन सिंघल जो कांग्रेस से आये हैं, उनको टिकट मिला है, लालकुआं से नवीन दुम्का संगठन के पदाधिकारी पर विश्वास किया गया, इस सीट पर एनडी तिवारी के पुत्र रोहित शेखर को उतारे जाने की चर्चा आखिरी समय तक थी, अल्मोडा से कैलाश शर्मा को टिकट नही देकर रघुनाथ चौहान को मिला, कैलाश शर्मा के बडे भाई पुरन शर्मा भाजपा के पूर्व प्रदेश अध्यक्ष रहे हैं, पिथौरागढ से प्रकाश पंत को ही टिकट दिया गया है, डीडीहाट से बिशन सिंह चुफाल को ही टिकट दिया गया है, इनका भी विरोध था, टिकट कटने की संभावना जतायी जा रही थी, लसडोन से दिलीप रावत का टिकट नही कटा, जबकि कोटद्वार से हरक सिंह रावत को टिकट दिया गया,
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