UK: 500 करोड़ एनएच मुआवजा घोटाला-एंटी करप्शन कोर्ट का सख्त रुख,हडकम्‍प मचा & असहज UK सरकार ने सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया & Top UK News 28 Oct. 20

28 Oct. 20; www.himalayauk.org (Newsportal & Print Media)# असहज उत्‍तराखंड सरकार ने  सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया # उत्तराखण्ड के 11 हजार लोग आईटीबीपी में सेवारत — मुख्यमंत्री # समारोह में डिस्पोजल्स को दिया जाए बढ़ावा – मुख्य सचिव #पर्वतों  की रानी  मसूरी त्यौहारी  सीजन में पर्यटकों से  गुलजार # हरिद्वार – डेंगू के लार्वा को नष्ट करने तथा आवश्यक रसायन एवं कीट नाशक के बारे में जानकारी # हरिद्वार — जिला स्तरीय परामर्शदात्री समिति (क्स्त्ब्)-लीड बैंक की बैठक # चमोली जिलाधिकारी ने बुधवार को जोशीमठ तहसील, उप कोषागार एवं ब्लाक कार्यालयों का औचक निरीक्षण किया # चमोली – जिले में 27 लोगों की रिपोर्ट कोरोना पाॅजिटिव

असहज उत्‍तराखंड सरकार ने  सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया #हाईकोर्ट के आदेश से उत्‍तराखंड की सियासत गरमाई

देहरादून.  उत्तराखंड हाईकोर्ट के फैसले से असहज प्रदेश सरकार ने अब सुप्रीम कोर्ट का दरवाजा खटखटाया है। राज्य सरकार ने बुधवार देर शाम सुप्रीम कोर्ट में एसएलपी (विशेष अनुमति याचिका) दायर की है। भाजपा के मुख्य प्रवक्ता मुन्ना सिंह चौहान ने इसकी पुष्टि की है।  पूरे मामले को लेकर भाजपा ने आरोपों को सिरे से नकार दिया है। प्रदेश अध्यक्ष बंशीधर भगत ने कहा कि हाईकोर्ट के आदेश का सम्मान करते हैं, लेकिन मुख्यमंत्री पर भ्रष्टाचार के आरोप बेबुनियाद हैं।    प्रदेश सरकार पर चौतरफा दबाव बनाने के लिए कांग्रेस ने सीबीआई जांच के हाईकोर्ट के आदेश को आधार बनाते हुए राज्यपाल से मिलने का फैसला किया है।   कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष प्रीतम सिंह के मुताबिक पूर्व सीएम हरीश रावत के नेतृत्व में कांग्रेस का विधायक दल राज्यपाल से सीएम के इस्तीफे की मांग को लेकर मिलेगा। इसके लिए राजभवन से समय मांगा गया है। नेता प्रतिपक्ष सहित कांग्रेस के सभी 11 विधायकों का प्रतिनिधिमंडल राज्यपाल से मिलेगा। कांग्रेस का मानना है कि हाईकोर्ट की ओर से एफआईआर दर्ज करने और सीबीआई जांच का आदेश होने के बाद सरकार को सत्ता में बने रहने का हक नहीं है।

उत्तराखंड हाईकोर्ट ने मंगलवार को सीएम त्रिवेंद्र सिंह रावत से जुड़े एक मामले की जांच CBI से कराने के निर्देश दिए हैं. हाईकोर्ट ने CBI के एसपी (देहरादून) को इस केस में दो दिन के अन्दर एफ़आईआर दर्ज करने को कहा है. यानी सीबीआई को शुक्रवार से पहले केस दर्ज करना होगा. एक याचिका पर सुनवाई करते हुए जस्टिस रविन्द्र मैठानी ने यह निर्देश दिए हैं. शिकायतकर्ता ने फेसबुक पोस्ट में एक पति-पत्नी को सीएम का रिश्तेदार बताते हुए आरोप लगाया था कि इनके अकाउंट में झारखंड के एक व्यक्ति ने काम करवाने के एवज में पैसे डाले थे. हालांकि, देहरादून पुलिस ने अपनी जांच में आरोपों को पहले ही खारिज कर दिया था. हाईकोर्ट ने मंगलवार को पत्रकार उमेश जे कुमार के खिलाफ दर्ज आपराधिक मुकदमों को निरस्त करने का आदेश दिया था। साथ ही उमेश की याचिका में लगाए आरोपों के आधार पर सीबीआई को एफआईआर दर्ज करने का आदेश भी दिया था। कोर्ट ने कहा, मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत के खिलाफ लगे आरोपों को देखते हुए यह सही होगा कि सच सामने आए। यह राज्य हित में होगा कि संदेहों का निवारण हो।

हाईकोर्ट ने मुख्‍यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत से जुड़े मामले में CBI को दो दिन के अन्दर एफ़आईआर दर्ज करने को कहा है.

मामला हाईकोर्ट के आदेश से जुड़ा है, जिस पर सीबीआई को कार्रवाई करनी है. ऐसे में सरकार इस मामले में गुरुवार को सुप्रीम कोर्ट जाने की तैयारी में है.  मुख्यमंत्री ने कहा कि सरकार इस केस में सुप्रीम कोर्ट जाएगी और मामले में दूध का दूध और पानी का पानी करवाया जाएगा. सीएम ने यह भी दावा किया कि सरकार के काम में पूरी पारदर्शिता है और जनता जानती है कि उनकी छवि साफ-सुथरी है.

हाईकोर्ट के आदेश के बाद उत्‍तराखंड की सियासत गरमा गई है. कांग्रेस का कहना है कि उन्हें सीबीआई जांच पर भरोसा नहीं है, क्योंकि राज्य और केंद्र में बीजेपी की सरकार है. पार्टी महासचिव सूर्यकांत धस्माना ने कहा कि यह मामला भ्रष्टाचार से जुड़ा है और इसलिए हाइकोर्ट के आदेश को देखते हुए मुख्यमंत्री को पद से इस्तीफा दे देना चाहिए.

कांग्रेस का कहना है कि सरकार ने 2017 में 100 दिन में लोकायुक्त की बात कही थी, लेकिन आज तक लोकायुक्त का गठन नहीं हो सका. ज़ीरो टॉलरेंस सरकार पर करप्शन के गंभीर आरोप लग रहे हैं. बीजेपी का कहना है कि कांग्रेस बिना आधार के बात कर रही है और सिर्फ आरोपों की राजनीति कर रही है. मामला हाइकोर्ट, सीबीआई, सीएम से जुड़ा है इसलिए लगता नहीं कि अब चुनावों तक यह मामला ठंडा पड़ेगा.

मुख्यमंत्री त्रिवेंद्र सिंह रावत के खिलाफ सीबीआई जांच का आदेश हाईकोर्ट ने मंगलवार को दिया था। इस फैसले के आधार पर बुधवार को मैदान में उतरी कांग्रेस ने मुख्यमंत्री से इस्तीफे की मांग की। कांग्रेस प्रदेश प्रभारी देवेंद्र यादव ने कहा कि मुख्यमंत्री का इस्तीफा न होने तक कांग्रेस अपना विरोध अभियान जारी रखेगी।   हाईकोर्ट ने मंगलवार को एक समाचार चैनल के सीईओ उमेश कुमार की याचिका को आधार बनाते हुए सीएम पर लगे आरोपों की जांच सीबीआई से कराने का आदेश दिया था। बुधवार को कांग्रेस इस मुद्दे को लेकर खुलकर मैदान में उतर आई। कांग्रेस भवन में प्रदेश प्रभारी देवेंद्र यादव, पूर्व सीएम हरीश रावत, कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष प्रीतम सिंह, नेता प्रतिपक्ष इंदिरा हृदयेश, पूर्व प्रदेश अध्यक्ष किशोर उपाध्याय ने संयुक्त प्रेस कांफ्रेंस कर प्रदेश सरकार पर हमला बोला।   प्रदेश प्रभारी ने कहा कि हाईकोर्ट का फैसला आने के बाद सीएम को अपने पद से इस्तीफा देना चाहिए। कांग्रेस इस मामले को लेकर तब तक आंदोलन करेगी, जब तक सीएम अपना पद नहीं छोड़ देते या उनसे इस्तीफा नहीं लिया जाता। 

कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष प्रीतम सिंह ने कहा कि भ्रष्टाचार को लेकर जीरो टॉलरेंस का दावा करने वाली सरकार पौने चार साल के कार्यकाल में लोकायुक्त नहीं ला पाई। सत्ता पक्ष के विधायक ही सदन में अपनी सरकार के खिलाफ कार्य स्थगन का प्रस्ताव लेकर आए। अब तो हाईकोर्ट ने मुख्यमंत्री पर लगे भ्रष्टाचार के आरोपों की सीबीआई जांच के आदेश दिए हैं। नैतिकता और जांच को प्रभावित न होने देने के आधार पर सीएम को अपना पद छोड़ देना चाहिए।  पूर्व सीएम हरीश रावत ने कहा कि हाईकोर्ट ने सीबीआई जांच का आदेश कर यह साफ कर दिया है कि उसे प्रदेश की जांच एजेंसी पर भरोसा नहीं है। नेता प्रतिपक्ष इंदिरा हृदयेश ने भी कहा कांग्रेस इस मामले को ठंडा नहीं होने देगी। सदन के अंदर और बाहर लड़ाई लड़ी जाएगी। प्रेस वार्ता में प्रकाश जोशी, विधायक काजी निजामुद्दीन सहित अन्य कांग्रेस नेता भी शामिल रहे।

500 करोड़ रुपए के एनएच मुआवजा घोटाला मामले में 115 आरोपितों के खिलाफ कोर्ट ने जारी किये आदेश, हड़कंप मचना तय..

नैनीताल. उत्तराखंड के सबसे बड़े घोटालों में से एक एनएच 74 भूमि मुआवज़ा घोटाले पर एंटी करप्शन कोर्ट ने सख्त रुख अपनाया है. एंटी करप्शन कोर्ट ने एसआईटी द्वारा 82 आरोपियों की बिना गिरफ्तारी के चार्जशीट दाखिल करने पर नोटिस जारी किए हैं और इन सभी आरोपियों को 21 नवम्बर को कोर्ट में तलब किया है. कोर्ट के इस आदेश के बाद अब इन आरोपियों पर गिरफ्तारी की तलवार लटक गई है. इसके साथ ही मुख्य आरोपी डीपी सिंह, तीर्थपाल, अनिल कुमार समेत 26 आरोपियों के मामले में अभियोजन साक्ष्य के लिए 14 दिसंबर को सुनवाई करेगा.

कुमाऊं कमिश्नर की जांच में एनएच 74 सड़क चौडीकरण के दौरान 500 करोड़ से ज़्यादा के घोटाले का पता चला था.

जिला एवं सत्र न्यायाधीश व विशेष न्यायाधीश भ्रष्टाचार निवारण राजीव खुल्बे की अदालत ने बुधवार को 500 करोड़ रुपए से अधिक के चर्चित एनएच मुआवजा घोटाला मामले में सुनवाई करते हुए 87 आरोपितों को नोटिस जारी कर 21 नवंबर को कोर्ट में तलब किया है। न्यायालय के इस आदेश के बाद इन आरोपितों को अब न्यायालय में पेश होना ही होगा। साथ ही घोटाले में मुख्य आरोपितों में शामिल तत्कालीन विशेष भूमि अध्याप्ति अधिकारी डीपी सिंह, तीरथपाल सिंह, विक्रमजीत सिंह, व अनिल कुमार सहित 28 आरोपियों के मामलों में गवाही के लिए 14 दिसंबर की तिथि नियत की है। न्यायालय द्वारा इस तरह आरोप पत्र पेश हो चुके व पेश न हो चुके मामलों को अलग-अलग करने व दोनों तरह के मामलों में कार्रवाई आगे बढ़ने से मामले के सभी आरोपितों में हड़कंप मचना तय है।

उल्लेखनीय है कि एनएच-74 मुआवजा घोटाले में मुख्य आरोतिप डीपी सिंह व 11 अन्य, अनिल कुमार व 6 अन्य, विक्रमजीत सिंह व 1 अन्य एवं तीरथपाल सिंह व 6 अन्य को पुलिस ने गिरफ्तार किया था। बाद में हालांकि इनमें से अधिकांश को उच्च न्यायालय से जमानत मिल गई थी। अलबत्ता इन सभी को न्यायालय में अभियोजन पक्ष के द्वारा आरोपित कर दिया गया था। इनसे संबंधित चार पत्रावलियां चल रही थी। आज न्यायालय ने अभियोजन पक्ष को आदेश दिये कि इन सभी मामलों में आगामी 14 दिसंबर को गवाह पेश करे। वहीं दूसरी ओर पंकज शर्मा व 13 अन्य, रामनारायण व 10 अन्य, बलवंत सिंह व 18 अन्य, अमृतपाल सिंह व 26 अन्य, रमेश कुमार व 8 अन्य, बलदेव सिंह व 6 अन्य, जिनमें अधिकांश किसान हैं, को एसआईटी विभिन्न कारणों से गिरफ्तार नहीं कर पाई। अलबत्ता इन 87 आरोपितों के खिलाफ 10 आरोपपत्र दायर हो चुकी है। न्यायालय ने बुधवार को इन्हें 21 नवंबर को न्यायालय में उपस्थित होने को नोटिस जारी कर दिए हैं। जिला शासकीय अधिवक्ता फौजदारी सुशील कुमार शर्मा ने बताया कि इन्हें तब आरोपित किया जाएगा और अभियोजन पक्ष की ओर से साक्ष्य हेतु पत्रावलियां लगाई जाएंगी। उन्होंने कहा कि अभियोजन पक्ष साक्ष्य प्रस्तुत करने को तैयार हैं।

कुमाऊं में एनएच 74 के चौड़ीकरण के लिए भूमि अधिग्रहण की प्रक्रिया में यह घोटाला हुआ था. अधिकारियों और  किसानों ने मिलीभगत कर से बैक डेट से 143 की कार्रवाई कर लाखों के मुआवजे को कई गुना बढ़ाकर करोड़ों का कर दिया था.  कुमाऊं कमिश्नर की रिपोर्ट में एनएच 74 सड़क चौडीकरण के दौरान 500 करोड़ से ज़्यादा के घोटाले का पता चला था. घोटाले की परतें खुलने के बाद राज्य सरकार ने इसकी जांच के लिए एक एसआईटी का गठन किया था. जांच के बाद एसआईटी ने इस मामले में डीपी सिंह को मुख्य आरोपी बनाते हुए कई राजस्व अधिकारियों, कर्मचारियों, तहसीलदार, बिचौलियों, किसानों के खिलाफ मुकदमा दर्ज कर जेल भेज दिया. 108 आरोपियों के खिलाफ चार्जशीट कोर्ट में पेश कर दी गई. बाद में हाईकोर्ट से कई आरोपियों को जमानत मिल गई. अब आरोप तय करने के लिए भ्रष्टाचार निवारण कोर्ट सुनवाई कर रही है. ज़िला शासकीय अधिवक्ता एंटी करप्शन सुशील शर्मा ने कहा कि जिन आरोपियों के खिलाफ नोटिस जारी हुए हैं अगर वे कोर्ट में नहीं आते हैं तो उनके खिलाफ वारंट जारी होंगे और उनकी गिरफ्तारी हो सकती है. 

विधायक श्री सुरेंद्र सिंह जीना की धर्मपत्नी के आकस्मिक निधन पर शोक

देहरादून 28 अक्टूबर, 2020 (सू.ब्यूरो)       मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने अल्मोड़ा जिले के सल्ट विधानसभा से भाजपा विधायक श्री सुरेंद्र सिंह जीना की धर्मपत्नी श्रीमती नेहा जीना के आकस्मिक निधन पर शोक व्यक्त किया है। उन्होंने दिवंगत की आत्मा की शांति व शोक संतप्त परिवारजनों को धैर्य प्रदान करने की ईश्वर से प्रार्थना की।

उत्तराखण्ड के 11 हजार लोग आईटीबीपी में सेवारत — मुख्यमंत्री

देहरादून 28 अक्टूबर, 2020 (सू.ब्यूरो)      मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने आईटीबीपी सीमाद्वार परिसर में गंगोत्री-2 पर्वतारोहण एवं 6 पीक आरोहण फ्लैग इन सैरेमनी में प्रतिभाग किया। आईटीबीपी द्वारा सितम्बर माह में 06 अनाम चोटियों पर पर्वतारोहण हेतु दल भेजा गया जिसका नेतृत्व सैक्टर देहरादून आईटीबीपी की उपमहानिरीक्षक श्रीमती अर्पणा कुमार द्वारा किया गया। 08 सदस्यों के दल ने उत्तराखण्ड के उच्च हिमालय की 06 हजार मीटर से अधिक ऊंचाई वाली चोटियों का आरोहण किया। आईटीबीपी द्वारा एक और पर्वतारोहण अभियान उप सेनानी दीपेन्द्र मान के नेतृत्व में उत्तरकाशी से 21615 फीट की ऊंचाई पर गंगोत्री-2 चोटी का सफलतापूर्वक आरोहण कर तिरंगा फहराया। इस दल में 26 पर्वतारोही थे।

मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र सिंह रावत ने इन सभी पर्वतारोहियों को प्रशस्ति पत्र देकर सम्मानित किया। मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र ने कहा कि आईटीबीपी के जवानों ने शौर्य, दृढ़ता एवं कर्मनिष्ठा का परिचय देते हए अपनी ड्यूटी के साथ पर्वतारोहण के क्षेत्र में नया रिकॉर्ड कायम किया है। आशा है कि चुनौतियों को स्वीकार करने वाले इन हिमवीरों ने आगे भी लक्ष्य तय किये होंगे। उन्होंने कहा कि आईटीबीपी और उत्तराखण्ड का गहरा रिश्ता है। अभी उत्तराखण्ड के 11 हजार लोग आईटीबीपी में सेवारत हैं एवं उत्तराखण्ड से 40 हजार लोग अपनी सेवाएं आईटीबीपी में दे चुके हैं। आईटीबीपी शौर्य एवं संवेदना का दूसरा नाम है। अपने परिवार से दूर रहकर हमारे जवान सीमान्त क्षेत्रों में सेवाएं देकर देश की रक्षा के लिए अपने शौर्य का परिचय दे रहे हैं। उत्तराखण्ड आपदा की दृष्टि से संवेदनशील राज्य है, आईटीबीपी ने आपदाओं के समय राज्य सरकार को पूरा सहयोग दिया है। दुर्गम क्षेत्रों में जाकर इन जवानों ने अपना लोहा मनवाया है।

                                                मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र ने कहा कि राज्य सरकार आईटीबीपी के साथ मजबूती के साथ खड़ी है। राज्य सरकार की ओर से आईटीबीपी को हर संभव सहयोग दिया जायेगा। आज उत्तराखण्ड विश्वभर में पर्यटन के क्षेत्र में आकर्षण का केन्द्र है। पर्यटन गतिविधियों में प्रदेश में चारधाम यात्रा, ईको टूरिज्म, ट्रेकिंग, एडवेंचर, विंटर स्पोर्ट्स शामिल हैं। 13 डिस्ट्रिक 13 न्यू डेस्टीनेशन पर राज्य सरकार कार्य कर रही है। उत्तराखण्ड शासन ने आईटीबीपी के साथ एक एमओयू हस्ताक्षरित किया है, जिसमें माँ गंगा के सौन्दर्यीकरण के साथ-साथ वाटर स्पोर्ट्स को बढ़ावा देने के लिए टिहरी बांध से में व्यावसायिक क्षमता, उत्कृष्ट कार्य, पर्यटन व स्वरोजगार बढ़ाने के लिए मिलकर कार्य करेंगे। टिहरी लेक में एडवेंचर की गतिविधियों को बढ़ावा देने के लिए आईटीबीपी महत्वपूर्ण भूमिका निभा सकता है।

     मुख्यमंत्री श्री त्रिवेन्द्र ने कहा कि आज टिहरी लेक फिल्मों की शूटिंग के लिए आकर्षण का केन्द्र बना है। उत्तराखण्ड को आत्मनिर्भर बनाने के लिए राज्य में रूरल ग्रोथ सेंटर बनाये जा रहे है। शुरूआती चरण में इन ग्रोथ सेंटरों से पहले 06 माह में 06 करोड़ रूपये से अधिक का कारोबार हुआ है। स्थानीय उत्पादों को बढ़ावा दिया जा रहा है और उनकी डिमांड भी तेजी से बढ़ रही है। इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने सभी आईटीबीपी के जवानों को दीपावली की शुभकामनाएं भी दी।

     इस अवसर पर आईटीबीपी के महानिरीक्षक उत्तरी सीमांत श्री नीलाभ किशोर, उपमहानिरीक्षक श्री कुंवर पाल सिंह, श्री मंधीर एक्का, श्री रणजीत सिंह,  निम के कर्नल श्री अमित बिष्ट आदि उपस्थित थे।

समारोह में डिस्पोजल्स को दिया जाए बढ़ावा – मुख्य सचिव

देहरादून 28 अक्टूबर, 2020 (सू.ब्यूरो)

‘‘जब तक दवाई नहीं, तब तक ढिलाई नहीं‘‘ का किया जाए व्यापक प्रचार प्रसारः मुख्य सचिव  # रेस्टोरेंट, होटल्स एवं पारिवारिक समारोह में डिस्पोजल्स को दिया जाए बढ़ावा

         मुख्य सचिव श्री ओम प्रकाश ने बुधवार को सचिवालय में कोविड-19 की रोकथाम हेतु किये जा रहे प्रयासों के सम्बन्ध में बैठक की। कोविड-19 को जन आंदोलन बनाए जाने के लिए सूचना विभाग नोडल विभाग के रूप में कार्य कर रहा है। बैठक के दौरान मुख्य सचिव ने निर्देश दिए कि दीपावली एवं राज्य गठन सप्ताह को देखते हुए सूचना विभाग को विशेष प्रयास करने होंगे। उन्होंने सूचना विभाग को पोस्टर्स, वॉल पेंटिंग्स आदि के माध्यम से व्यापक प्रचार किए जाने के निर्देश दिए। इसके साथ ही, 09 नवम्बर के कार्यक्रम के लिए पुलिस लाईन में आयोजित होने वाली परेड में पुलिस विभाग को पोस्टर आदि के माध्यम से प्रचार प्रसार के निर्देश दिए।

मुख्य सचिव ने प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी जी के आह्वान ‘‘जब तक दवाई नहीं, तब तक ढिलाई नहीं‘‘ का व्यापक प्रचार प्रसार किए जाने के भी निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि लोगों को कोरोना के प्रति जागरूक करने हेतु इस प्रकार के स्लोगन हर जगह दिखाई देने चाहिए। उन्होंने कहा कि कोरोना संक्रमण से बचने हेतु आमजन को जागरूक करने के लिए बच्चों की रैली आयोजित करायी जा सकती है।

मुख्य सचिव श्री ओम प्रकाश ने कहा कि कोरोना के इस दौर में स्वास्थ्य विभाग के साथ-साथ पुलिस विभाग को भी महत्वपूर्ण भूमिका निभानी है। दो-तीन दिन लगातार छुट्टी होने के कारण पर्यटन स्थलों में पर्यटकों की आवाजाही बढ़ेगी ऐसे में सोशल डिस्टेंसिंग और सैनेटाईजेशन पर विशेष ध्यान दिया जाए। मास्क, सैनिटाईजर का प्रयोग एवं सोशल डिस्टेंसिंग पर वॉल राईटिंग का व्यापक अभियान चलाया जाए। उन्होंने पुलिस विभाग को टूरिस्ट लोकेशन्स में स्टाफ बढ़ाए जाने हेतु निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि टूरिस्ट लोकेशन्स में पोस्टर्स, होर्डिंग्स आदि के माध्यम से प्रचार प्रसार किया जाए। रेस्टोरेंट एवं होटल्स में डिस्पोजेबल कटलेरी एवं गिलास आदि की व्यवस्था को लागू करवाया जाए। आदेशों की अवहेलना करने वालों पर पुलिस कार्रवाई की जाए। उन्होंने कहा कि पारिवारिक कार्यक्रमों में भी डिस्पोजेबल को बढ़ावा दिए जाने के प्रति आमजन को जागरूक किया जाए।

मुख्य सचिव ने कहा कि दुकानों के गेट के बाहर ही सैनिटाईजर की व्यवस्था की जाए। उन्होंने होटल, रेस्टोरेंट व दुकानों में सीटों पर ‘‘इस सीट में न बैठें‘‘ का स्टीकर लगाये जाने को बढ़ावा दिए जाने पर बल दिया। उन्होंने कहा कि एग्जोस्ट फैन (निकास पंखे) के इस्तेमाल को भी बढ़ावा दिया जाए।

मुख्य सचिव ने सभी विभागों के पोर्टल्स पर कोरोना हेतु जागरूकता के लिए स्क्रॉल चलाए जाने हेतु एनआईसी को निर्देश दिए। उन्होंने सभी विभागों से अपने सोशल मीडिया अकाउंट्स पूल करने हेतु सूचना विभाग एवं अन्य विभागों से आपस में समन्वय बनाकर कोरोना के प्रति जागरूकता में प्रोएक्टिव होकर अपना योगदान देने के भी निर्देश दिए।
            मुख्य सचिव ने स्वास्थ्य विभाग को सीडीओ एवं सीएमओ के साथ वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से जन जागरूकता हेतु संदेश दिए जाने के निर्देश दिए। अगले कुछ दिनों में बारिश होने की संभावना है, जिसके कारण कोरोना का प्रकोप भी बढ़ने की सम्भावना है, इसे देखते हुए विशेष प्रयास किए जाने की आवश्यकता है। उन्होंने अस्पतालों में ओपीडी की संख्या घटने पर चिंता व्यक्त की। उन्होंने निर्देश दिए कि मरीजों को बेवजह कोरोना टेस्ट किए जाने को मजबूर न किया जाए। इसके लिए स्वास्थ्य विभाग द्वारा शीघ्र निर्देश जारी किए जाएं। सचिव सूचना श्री दिलीप जावलकर ने बताया कि राज्य में जनजागरूकता अभियान के तहत प्रिंट मीडिया, इलैक्ट्रॉनिक मीडिया, आउटडोर मीडिया, सोशल मीडिया, एफएम एवं कम्यूनिटी रेडियो के माध्यम से कोविड-19 से बचाव हेतु व्यापक स्तर पर प्रचार प्रसार किया गया है। खेल विभाग द्वारा कोरोना विनर्स के लिए वॉकाथन एवं बैडमिन्टन प्रतियोगिता का आयोजन किया गया। इसके साथ ही सभी जनपदों हेतु वॉकाथन एवं अन्य खेल प्रतियोगिताओं का जनपदवार कैलेण्डर जारी किया गया है। सचिव श्री जावलकर ने बताया कि प्रदेश के सभी जनपदों में जनप्रतिनिधियों, अधिकारियों, प्रवर्तन दलों, दुकानदारों आदि ने कोरोना के प्रति जागरूकता में अपना योगदान दिया है।

इस अवसर पर पुलिस महानिदेशक(अपराध एवं कानून व्यवस्था) श्री अशोक कुमार, सचिव स्वास्थ्य डॉ पंकज कुमार पांडेय, प्रबंध निदेशक उत्तराखण्ड परिवहन निगम श्री रणवीर सिंह चौहान, एडिशनल एक्साइज कमिश्नर श्री उदय सिंह राणा, संयुक्त निदेशक सूचना श्री राजेश कुमार, उपनिदेशक सूचना श्री नितिन उपाध्याय सहित विभिन्न विभागों के अधिकारी उपस्थित थे।

 पर्यटकों  मसूरी की ओर आकर्षित

देहरादून,  28 अक्टूबर 2020। पर्वतों की रानी के नाम से  मशहूर उत्तराखंड का  प्रसिद्ध हिल  स्टेशन  मसूरी  इन दिनों पर्यटकों से गुलजार है। खास तौर पर दिल्ली  व आसपास के  शहरों जैसे  गुड़गांव, यूपी आदि से  ज्यादा पर्यटक यहां आ रहे हैं  और मसूरी के रास्तों पर मंत्रमुग्ध  कर देने  वाली  शामों का लुत्फ ले रहे हैं। मसूरी हमेशा से पर्यटकों की पसंदीदा आरामगाह के रूप में लोकप्रिय रहा है। सर्दियां आ गयी हैं  लेकिन मसूरी की ठंडक भरी हवाएं और साथ में त्योहारों का उल्लास और छुट्टियों में सैर-सपाटा करने की  इच्छा पर्यटकों को मसूरी की ओर आकर्षित कर रही हैं।

अकेले घूमने के शौकीन दिल्ली एनसीआर के पर्यटक अमन आगा बीते सप्ताह में मसूरी आए। उन्होंने बताया, ’’मसूरी की जादुई खूबसूरती देखकर मैं चकित रह गया। लाइब्रेरी रोड, चारदुकान सभी पर्यटकों को अवश्य जाना चाहिए। इसके अलावा, मसूरी के  होटलों में सुरक्षा के उपायों जैसे सैनिटाइजेशन और थर्मल स्क्रीनिंग का भी पर्यटकों के लिए पूरा इंतजाम है।’’

गुड़गांव के पर्यटक अभिमन्यू राजपूत ने कहा, ’’मसूरी मेरी पसंदीदा जगहों में से एक है। मैं अपने दोस्तों के साथ यहां घूमने आया और हमने देखा कि होटल के स्टाफ से लेकर सड़कों पर सामान बेचने वाले विक्रेता तक सभी लोग राज्य सरकार द्वारा कोविड-19 के दिशानिर्देशों पूरा पालन कर रहे थे।’’

होटल एंड रेस्टोरेंट ऐसोसिएशन, उत्तराखंड के अध्यक्ष संदीप साहनी ने कहा, ’’मसूरी में निरंतर  पर्यटकों की संख्या बढ़ रही है। हमें  खुशी हो रही है  कि कोविड महामारी के  बाद अब पर्यटन  में तेजी  आ रही है। जिसमें सबसे ज्यादा पर्यटक  दिल्ली, एनसीआर और आसपास की जगहों से  आ रहे हैं। सितंबर के मुकाबले अक्टूबर में  हमने पर्यटकों की संख्या में 30-40 प्रतिशत  वृद्धि दर्ज की  है।’’  मसूरी के होटलों में  बुकिंग का आंकड़ा बढ़ रहा है, त्योहारों के  मौसम के मद्देनजर  उम्मीद है की होटलों और रेस्टोरेंट में आने वालों की तादाद और बढ़ेगी।

उत्तराखण्ड पर्यटन मंत्री सतपाल महाराज ने कहा, ‘‘राज्य सरकार  द्वारा कोविड 19 लाॅकडाउन के  बाद अनलाॅक में पर्यटन को बढ़ावा देने के लिए कई सकारात्मक कोशिशें की गयी जिसके रिजल्ट अब पर्यटकों में वृद्वि के रूप में देखने को मिल रहे हैं। उत्तराखण्ड सरकार द्वारा जारी दिशानिर्देशों का पर्यटन हितधारक सुरक्षा के सभी उपायों पर अमल कर रहे हैं इसलिए पर्यटक निश्चिंत होकर यहां घूमने आ रहे हैं।”

पर्यटन सचिव दिलीप जावलकर ने कहा, ‘‘मसूरी आने वाले पर्यटकों के उत्साह से स्पष्ट है कि यहां पर्यटन की वापसी हो रही है। ये पर्यटन पर आधारित अर्थव्यवस्था वाले उत्तराखंड राज्य के लिए सकारात्मक संकेत हैं। पर्यटन के मामले में हम तेजी से सामान्य होने की तरफ बढ़ रहे हैं। उम्मीद है कि पर्यटन से जुड़े सभी हितधारक कोविड 19 के मद्देनजर जारी दिशानिर्देशों का पालन करेंगे ताकि पर्यटकों में उत्तराखंड के पर्यटन स्थलों को लेकर भरोसा बढ़ सके।”

हरिद्वार– डेंगू के लार्वा को नष्ट करने तथा आवश्यक रसायन एवं कीट नाशक के बारे में जानकारी

हरिद्वार। जिलाधिकारी श्री सी0 रविशंकर के निर्देशों का पालन करते हुए डेगू के विरूद्ध अभियान के अन्तर्गत डे आॅफिसर श्री विनोद श्रेया, अधिशासी अधिकारी, नगर पंचायत, कलियर शरीफ के नेतृत्व में डेंगू के खिलाफ की जाने वाली कार्रवाई के सम्बन्ध में सभी को सक्रिय करते हुये लगातार समन्वय स्थापित किया गया। अभियान से जुड़े लोगों को डेंगू के लार्वा के स्रोत और डेंगू के लार्वा को नष्ट करने तथा आवश्यक रसायन एवं कीट नाशक के बारे में जानकारी दी गयी। श्री विनोद श्रेया के नेतृत्व में जनपद हरिद्वार के समस्त आवासीय क्षेत्रों, कबाड़ की दुकानों, धर्मशालाओं, होटलों, कार्यालयों तथा इन स्थानों पर रखे गये फ्रिज, कूलर, गमलों, ट्यूब-टायर, अन्य अनावश्यक वस्तुओं आदि में विशेष ध्यान केन्द्रित करते हुये, खासकर डेंगू पाॅजिटिव पाये गये व्यक्तियों के निवास स्थलों में, जनपद के समस्त नगर निगम, नगर पालिका, नगर पंचायत के नगर आयुक्त और अधिशासी अधिकारी, समस्त खण्ड विकास अधिकारी, अपर मुख्य अधिकारी जिला पंचायत के सहयोग से सक्रिय रूप से जन-जागरूकता सहित छिड़काव का अभियान चलाया गया और कई स्थानों पर लार्वा नष्ट किया गया, जिसमें कार्यालय अधिशासी अधिकारी, नगर पंचायत, कलियर शरीफ की विशेष भूमिका रही।

वृहद कार्यक्रम के तहत विभिन्न स्थानों में छिड़काव, लार्वा नष्ट करना तथा प्रचार प्रसार का कार्य किया गया। जिन-जिन स्थानों पर छिड़काव तथा लार्वा नष्ट करने की सघन कार्रवाई की गयी, उनमें से प्रमुख हैं- पीरान कलियर, इक्कड़, धनारपुर, सराय ज्वालापुर, नगर निगम हरिद्वार में ज्वालापुर, कडच्छ, कनखल तथा नगर निगम रूड़की के वार्ड नम्बर 39 (काशीपुरी) व 40 (मतलबपुर) क्षेत्रों में डेंगू मच्छर के लार्वा के सोर्स रिडक्शन, जनजागरण की कार्यवाही की गयी। इस कार्य में नगरीय व ग्रामीण निकायों द्वारा भी प्रतिभाग किया गया।

यहां यह उल्लेखनीय है कि नगर निगम रूड़की के वार्ड नम्बर 39 (काशीपुराी) व 40 (मतलबपुर) वार्डों में से कुल 56 (आवास, डेरी, मन्दिर, सैलून, दुकान, मेडिकल स्टोर, स्कूल) आदि का निरीक्षण किया गया, निरीक्षण के दौरान (आवास, डेरी, मन्दिर, सैलून, दुकान, मेडिकल स्टोर, स्कूल) आदि में डेंगू का लार्वा नहीं पाया गया।

डेंगू का लार्वा पनपने की सम्भावित जगहों पर कीटनाशक छिड़काव तथा जन-जागरूकता अभियान चलाकर सभी ने मिशन के रूप में जिलाधिकारी के आदेशों का पालन किया, ताकि जनपद को डेंगू और मलेरिया जैसी बीमारियों से मुक्त किया जा सके।

हरिद्वार — जिला स्तरीय परामर्शदात्री समिति (क्स्त्ब्)-लीड बैंक की बैठक

हरिद्वार – जिलाधिकारी हरिद्वार श्री सी0 रविशंकर की अध्यक्षता में आज कलेक्ट्रेट सभागार में जिला स्तरीय परामर्शदात्री समिति (क्स्त्ब्)-लीड बैंक की बैठक आयोजित हुई।  
बैठक में जिलाधिकारी ने कहा कि जिन बैंकों का प्रदर्शन अच्छा होगा उन्हें प्रोत्साहित किया जायेगा तथा जिनका प्रदर्शन अच्छा नहीं होगा, उनकी जिम्मेदारी तय की जायेगी।
अधिकारियों ने जिलाधिकारी को बताया कि मुख्यमंत्री स्वरोजगार योजना के अन्तर्गत हरिद्वार जनपद में वर्ष 2020-21 में भौतिक लक्ष्य 100 प्रोजेक्ट से बढ़ाकर 200 प्रोजेक्ट कर दिया गया है। सितम्बर, 20 तक जनपद में विभिन्न बैंकों को 295 ऋण आवेदन भेजे गये, जिनमें से 61 आवेदन स्वीकृत किये गये हैं। 30 आवेदन वापस किये गये, 80 आवेदन निरस्त किये गये हैं। जिलाधिकारी को अधिकारियों ने प्रधानमंत्री रेहड़ी-पटरी आत्म निर्भर निधि, राष्ट्रीय शहरी आजीविका मिशन, प्रधानमंत्री रोजगार सृजन कार्यक्रम, स्वतः रोजगार योजना, अल्पसंख्यक रोजगार योजना, वीरचन्द्र सिंह गढ़वाली पर्यटन स्वरोजगार योजना, प्रधानमंत्री शहरी आवास योजना, कृषि से सम्बन्धित अनुषंगी गतिविधियों की प्रगति की जानकारी दी।
श्री सी0 रविशंकर ने अधिकारियों को निर्देशित किया कि जन कल्याणकारी योजनाओं तथा अन्य ऋण सम्बन्धी जो भी आवेदन उन्हें प्राप्त हों, उन पर तत्काल कार्रवाई करें तथा जो पात्र व्यक्ति हैं, उन्हें स्वीकृति तुरन्त प्रदान करें तथा जिन आवेदनों में कोई कमी है तो उस कमी का उल्लेख करते हुये आवेदन अस्वीकृत होने के कारण का उल्लेख करते हुये 15 दिन के भीतर आवेदक को सूचित कर दें तथा सही व्यक्ति को योजनाओं का लाभ अवश्य मिलना चाहिये। बैठक में जिलाधिकारी ने चल रही विभिन्न कल्याणकारी योजनाओं/कार्यक्रमों में एस0बी0आई0 व ग्रामीण बैंक द्वारा योगदान देने के बजाय उदासीन रवैया अपनाने पर एस0बी0आई0 व ग्रामीण बैंक की कार्यप्रणाली पर असन्तोष व्यक्त किया।
बैठक में जिलाधिकारी को फसल बीमा योजना के बारे में भी विस्तृत जानकारी दी गयी, जिसमें ओलावृष्टि, जलभराव, आकाशीय बिजली आदि प्राकृतिक आपदाओं से हुये किसानों के नुकसान की भरपाई हो सकती है।

बैठक में जिलाधिकारी ने उपस्थिति बैंक अधिकारियों से नगर निगम काम्पलेक्स, नेहरू स्टेडियम, ऋषिकुल मैदान, भूपतवाला, बी0एच0ई0एल0 के सेक्टर-03 एवं 04 में  01 नवम्बर से प्रस्तावित मेलों का जिक्र करते हुये कहा कि इन स्थानों में स्टाल आदि बनाने में आप लोगों की महत्वपूर्ण भूमिका हो सकती है तथा जरूरतमन्दों को मेला स्थल पर ही ऋण स्वीकृत करने हेतु आप लोग भी अपने-अपने बैंकों का स्टाॅल लगा सकते हैं।
बैठक में नेशनल बैंक लि0, नाबार्ड, बैंक आॅफ इण्डिया, ए0आईसी0 देहरादून, सी0एच0ओ0/डी0एस0 डब्ल्यू ओ0 हरिद्वार, महाप्रबन्धक जिला उद्योग, डेयरी डेवलेपमेंट, ई0ए0सी0 हरिद्वार, बन्धन बैंक, बैंक आॅफ बड़ौदा, बैंक आॅफ महाराष्ट्रा, केनरा बैंक, सेण्ट्रल बैंक आॅफ इण्डिया, जिला सहकारी बैंक, एचडीएफसी, आईडीबीआई, इण्डियन बैंक, इण्डियन ओवरसीज बैंक, जेएनके, कर्नाटक बैंक लि0, पंजाब एण्ड सिन्ध बैंक, पंजाब नेशनल बैंक, एसबीआई, यूको बैंक, यूनियन बैंक आॅफ इण्डिया, उत्तराखण्ड ग्रामीण बैंक, यश बैंक, इण्डियन पोस्ट पेमेंट बैंक तथा उत्तरांचल ग्रामीण बैंक सेे सम्बन्धित अधिकारी उपस्थित थे।

चमोली जिलाधिकारी ने बुधवार को जोशीमठ तहसील, उप कोषागार एवं ब्लाक कार्यालयों का औचक निरीक्षण किया

चमोली 28 अक्टूबर,2020 (सू0वि0)  जिलाधिकारी स्वाति एस भदौरिया ने बुधवार को जोशीमठ तहसील, उप कोषागार एवं ब्लाक कार्यालयों का औचक निरीक्षण किया। तहसील जोशीमठ मे विभिन्न पटलो, कार्यालय अभिलेखों की जांच करते हुए जिलाधिकारी ने एसडीएम एवं तहसीलदार कोर्ट मे लंबित राजस्व एवं क्रिमिनल वादो का शीघ्र निस्तारण करने के निर्देश दिए। उन्होंने कहा कि कोर्ट मे वादो पर बहस के लिए दो बार बुलाने पर भी वादी उपस्थित नही होता है तो एक अंतिम अवसर देकर वादो को खतम किया जाए। तहसील में शिकायत रजिस्टर की जांच मे 17 शिकायते लंबित पायी गई। जिस पर जिलाधिकारी ने एसडीएम को हर हप्ते शिकायतों की समीक्षा करते हुए लंबित शिकायतों का निस्तारण करने के निर्देश दिए। तहसील स्तर पर आपदा मे क्षतिग्रस्त परिसंपत्तियों का विवरण रखने के लिए रजिस्टर बनाने को कहा। इस दौरान जिलाधिकारी ने पटवारी चैकियों के बारे भी जानकारी ली। उन्होंने निर्देश दिए कि क्षतिग्रस्त पटवारी चैकियों की मरम्मत के लिए शीघ्र प्रस्ताव दे। सीएम राहत कोष के तहत 6 लोगो को चैक धनराशि वितरण न किए जाने पर तहसीलदार ने बताया कि लाभार्थियों के नाम गलत होने के कारण चैक वितरण नही हुए है।


जिलाधिकारी ने राजस्व वसूली के लंबित मामलों की जांच करते हुए बडे बकायदारों से वसूली में तेजी लाने के निर्देश दिए। तहसील स्तर पर लंबित देयता के निरीक्षण में बताया गया कि 41 लाख के 57 मामलों में से 30 मामलों में 9 लाख की वसूली की जा चुकी है। नजारत के निरीक्षण के दौरान जिलाधिकारी ने कार्यालय व्यय अभिलेखों एवं आवश्यकताओं के बारे में जानकारी ली। एसडीएम ने बताया कि तहसील कार्यो के संपादन हेतु एक जनरेटर और एक अतिरिक्त फोटोकाॅपी मशीन की नितांत आवश्यकता है। जिस पर जिलाधिकारी ने पिछले कार्यो की उपयोगिता प्रमाण पत्र के साथ डिमांड भी उपलब्ध कराने के निर्देश दिए। इस दौरान जिलाधिकारी ने एसडीएम कोर्ट, तहसीलदार कोर्ट, नजारत, संग्रहालय अधिष्ठान, भूलेख कार्यालय, पेशकार, आरके सेक्शन सहित उप कोषागार का बारीकी से निरीक्षण करते हुए आवश्यक दिशा निर्देश दिए। निरीक्षण के दौरान एसडीएम अनिल कुमार चनियाल, तहसीलदार चन्द्रशेखर बशिष्ट, नायब तहसीलदार प्रदीप नेगी, आरके नरेन्द्र रावत सहित तहसील प्रशासन के सभी पटलों के अधिकारी व कर्मचारी उपस्थित रहे। 


जोशीमठ शहर में सुविधाओं के विकास एवं शहर के सौन्दर्यीकरण को लेकर जिलाधिकारी ने तहसील कार्यालय में नगर पालिका अध्यक्ष सहित व्यापार मंडल के पदाधिकारियों व स्थानीय जनप्रतिनिधियों के साथ बैठक करते हुए उनके सुझाव भी लिए। नगर पालिका अध्यक्ष ने जोशीमठ एवं औली में पार्किंग की समस्या रखते हुए गांधी मैदान में मल्टी स्टोरी पार्किंग निर्माण एवं औली में पार्किंग के लिए नगर पालिका का भूमि उपलब्ध कराने पर जोर दिया। व्यापार मंडल के पदाधिकारियों ने औली क्षेत्र के लिए ईको टूरिज्म की व्यवस्था बनाने को कहा। बताया कि इससे स्थानीय लोगो को फायदा मिलेगा। बैठक में जोशीमठ-औली मोटर मार्ग को बर्फ के मौसम हर समय सड़क खुला रखने के लिए स्नोकटर मशीन न होने की समस्या प्रमुखता से रखी गई। इस दौरान क्षेत्र मे जंगली जानवर व आवारा पशुओं की समस्याएं पर भी चर्चा हुई। बताया गया कि क्षेत्र मे भालू के आतंक से लोग दहशत मे है। औली  मे पशुओं को छोडने से यहां ठंड के कारण पशु मर रहे। साथ जोशीमठ बाजार मे आवारा पशुओं को रखने के लिए भी काजी हाउस बनाया जाना आवश्यक है।


नगर पालिका क्षेत्र मे संचालित निर्माण कार्यो, साफ सफाई व सुरक्षात्मक की जानकारी लेते हुए जिलाधिकारी ने नगर मे स्ट्रीट लाइट एवं प्रमुख स्थानो पर सीसीटीवी कैमरे लगाने को कहा। उन्होंने नगर क्षेत्र मे पार्क का सौन्दर्यीकरण कराने पर जोर देते हुए कहा कि स्थानीय लोगों एवं पर्यटकों की सुविधा के लिए पार्को का सौन्दर्यीकरण किया जाना आवश्यक है। पर्यटकों को पहाड़ी शैली की अनुभूति हो सके इसके लिए जोशीमठ मे किसी एक क्षेत्र के सभी मकानों व दुकानों को एक कलर स्कीम मे रंगरोगन कराने की बात कही। जोशीमठ में सेना द्वारा जगह जगह रास्ते रोकने एवं भूमि विवाद की समस्या पर जिलाधिकारी ने एसडीएम को सेना के अधिकारियों एवं स्थानीय लोगों के साथ बैठक करते हुए समस्या का समाधान करने के निर्देश दिए। इस दौरान नगर पालिका अध्यक्ष शैलेन्द्र पंवार, व्यापर संघ अध्यक्ष नैन सिंह भण्डारी, पूर्व पालिका अध्यक्ष ऋषि प्रसाद सती, महामंत्री जयप्रकाश भट्ट, संरक्षक व्यापार संघ माधव प्रसाद सेमवाल, कोषाध्यक्ष कन्हैयालाल शाह, अतुल सती आदि मौजूद थे। 


इसके बाद जिलाधिकारी ने विकासखंड जोशीमठ कार्यालय का औचक निरीक्षण भी किया। विकासखंड में उपस्थिति पंजिका निरीक्षण पर खंड विकास अधिकारी सहित कार्यालय के तीन अन्य कार्मिक अनुपस्थित पाए गए। बिना अवकाश स्वीकृत किए तथा बिना किसी भ्रमण कार्यक्रम की जानकारी दिए कार्यालय से अनुपस्थित पाए जाने पर जिलाधिकारी ने सख्त कार्यवाही करते हुए सभी अनुपस्थित अधिकारियों व कर्मचारियों के वेतन आहरण पर अग्रिम आदेशों तक रोक लगा दी है। इस दौरान जिलाधिकारी ने विकासखंड में मनरेगा सेल का निरीक्षण कर मनरेगा के तहत संचालित कार्यो की गहनता से जांच की। अधिकांश लोगों को मनरेगा में गौशाला निर्माण कार्यो की स्वीकृति देने पर नाराजगी व्यक्त की। उन्होंने मनरेगा में स्वीकृत कार्यो का पूरा ब्यौरा उपलब्ध कराने के निर्देश दिए है।

चमोली – जिले में 27 लोगों की रिपोर्ट कोरोना पाॅजिटिव

चमोली 28 अक्टूबर,2020 (सू0वि0)  बुधवार को जिले में 27 लोगों की रिपोर्ट कोरोना पाॅजिटिव मिली। गोपेश्वर में पोस्ट आॅफिस के 10 कर्मचारियों सहित कुल 12, जोशीमठ से 6, कर्णप्रयाग से 5, घैस देवाल व नारायणबगड ब्लाॅक से 2-2 व्यक्तियों की रिपोर्ट पाॅजिटिव आई। स्वास्थ्य विभाग ने संक्रमितों का इलाज शुरू कर दिया है। कोरोना वायरस से जिले में अब तक 1722 लोग संक्रमित हुए है। हालांकि इसमें से 1494 लोग स्वस्थ भी हो चुके हंै और 228 एक्टिव केस है।
कोविड संक्रमण की रोकथाम को लेकर जिला प्रशासन सभी जरूरी कदम उठा रहा है। जनपद वासियों को संक्रमण से बचने के लिए शारीरिक दूरी रखने एवं मास्क पहनने के लिए लगातार जागरूक किया जा रहा है। जिला अस्पताल सहित गौचर, कर्णप्रयाग एवं जोशीमठ में भी ट्रू-नाॅट मशीन से कोविड टेस्ट किया जा रहा है। जिलाधिकारी स्वाति एस भदौरिया के निर्देशों पर स्वास्थ्य विभाग द्वारा अधिक से अधिक लोगों का है। बुधवार को 447 संदिग्ध व्यक्तियों के सैंपल जांच के लिए भेजे गए। जिले से अभी तक 38042 व्यक्तियों के सैंपल टेस्ट के लिए भेजे जा चुके हैं, जिसमें से 33403 सैंपल नेगेटिव तथा 1722 सैंपल पाॅजिटिव मिले। जबकि 1168 सैंपल की रिपोर्ट आनी बाकी है।

कोविड संक्रमण से बचाव के दृष्टिगत बाहरी प्रदेशों से आए 25 प्रवासी अभी फेसलिटी क्वारटीन में ठहराए गए लोगों की रेग्यूलर जाॅच कर रही है। इसके अलावा 119 प्रवासियों को होम क्वारंटीन किया गया है। होम क्वारंटीन लोगों के मेडिकल जांच के लिए गठित 23 मोबाइल चिकित्सा टीमें गांवों में घर-घर जाकर जांच कर रही है। इसके अलावा आशा के माध्यम से भी होम क्वारंटीन लोगों की नियमित स्वास्थ्य जांच की जा रही है। जिलाधिकारी ने सभी प्रवासियों को क्वारंटीन नियमों का पूरी तरह से पालन सुनिश्चित करने के निर्देश दिए है। शासकीय कार्मिकों के माध्यम से क्वारंटीन लोगों पर निरतंर निगरानी रखते हुए नियमों का उल्लंघन करने वाले व्यक्तियों के विरूद्ध कार्यवाही भी अमल में लाई जा रही है।
जिले में कोविड नियमों का उल्लंघन करने पर डीएम एक्ट के तहत 43 एफआईआर, सोशियल डिस्टेंसिंग का उल्लंघन करने पर 2128 तथा मास्क न पहनने पर 5773 लोगों को दंड स्वरूप जुर्माना लगाया गया। महामारी अधिनियम के तहत क्वारंटाइन का उल्लंघन करने पर 15 लोगों के खिलाफ मुकदमा दर्ज किया गया। सोशल मीडिया पर अफवाह फैलाने पर 01 तथा पुलिस एक्ट के तहत 2547 लोगों के खिलाफ कार्यवाही की गई है। पुलिस प्रशासन के माध्यम से अब तक 7080 मास्क भी वितरित किए गए है।


जिले में आवश्यक सेवाओं के तहत खाद्यान की आपूर्ति सुचारू बनी हुई है। स्टाॅक में गेहूं 2561.50 कुन्तल, चावल 1724.95 मसूर दाल 1.53 कुन्तल, चना दाल 9.55 कुन्तल, अरहर दाल 557.35, उडद दाल 529.98, चीनी 32.71 कुन्तल, पीएम गरीब कल्याण चावल 299.70, कुन्तल पीएम गरीब कल्याण गेहूं 4022.96 कुन्तल व दाल 647.70 कुन्तल तथा घेरलू गैस के 2508 घरेलू गैस सिलेंडर स्टाॅक में है। 

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