हरीश रावत को यह दांव भारी पडा- महिलाओ ने 33 प्रतिशत सीट मांगी
उत्तराखण्ड के मुख्य मंत्री ने रक्षाबंधन के अवसर पर महिलाओ के लिए बनायी जा रही तथा की गयी योजनाओं का उल्लेख कर महिलाओं को कांग्रेस के पलडे में लाने की रणनीति अपनायी थी, परन्तु यह दांव भारी पड गया-
अब नारी शक्ति ही उत्तराखण्ड के विकास के द्वार खोलेगी, देहरादून से मुख्यमंत्री हरीश रावत का यह बयान आते ही राज्य महिला कांग्रेस का बयान भी कमोबेश उसी दोरान आया- पहले तो 33 प्रतिशत सीटें महिलाओं को मिले. अगर ऐसा नहीं होता है तो 25 प्रतिशत सीटों पर महिलाओं को चुनाव लड़ाने के लिए वो सरकार व संगठन से बात करेंगी.
कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष किशोर उपाध्याय के बाद अब राज्य महिला कांग्रेस ने भी सरकार के खिलाफ मोर्चा खोल दिया है. महिला कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष ने सरिता आर्या ने साफ कर दिया है कि 2017 के विधानसभा चुनावों में महिलाओं की भागिदारी बढ़नी चाहिए.
मीडिया से बातचीत के दौरान सरिता आर्या ने कहा है कि वो राज्य की उन महिलाओं को विधानसभा में देखना चाहती है, जो जनता की पैरवी करती हैं. इतना ही नहीं सरिता आर्या ने कहा है कि पहले तो 33 प्रतिशत सीटें महिलाओं को मिले. अगर ऐसा नहीं होता है तो 25 प्रतिशत सीटों पर महिलाओं को चुनाव लड़ाने के लिए वो सरकार व संगठन से बात करेंगी.
वहीं बीजेपी पर हमला करते हुये राज्य महिला कांग्रेस की प्रदेश अध्यक्ष सरिता आर्या ने कहा कि बीजेपी, निशंक सरकार के साथ हरक सिंह रावत व पूर्व सीएम विजय बहुगुणा के काले कारनामों को छिपाने के लिये पर्दाफाश का बहाना कर रही हैं.
इसके साथ ही कांग्रेस प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि महंगाई देश में बढ़ती जा रही है, लेकिन कांग्रेस सरकार के दौरान प्रर्दशन करने वाली महिला सांसद चुप है. सरिता आर्या ने साफ कर दिया है की अगर बीजेपी पर्दाफाश रैली कर रही है तो वो ना सिर्फ राज्य में बीजेपी के खिलाफ यात्रा निकालेंगे बल्कि दिल्ली में राज्य की महिलाओं के साथ प्रर्दशन करेंगे.
ज्ञात हो कि मुख्यमंत्री ने राज्य के अनेक कार्यक्रमों में महिलाओं के लिए बनायेे गये कल्याणकारी कार्यक्रमों का पूरा उल्लेख किया-
देघाट में मुख्यमंत्री श्री रावत ने महिलाओं को आत्मनिर्भर बनने के लिये आगे आने की अपील की और प्रसन्नता भी व्यक्त कि कि महिलायें आगे बढ़कर इन्दिरा अम्मा कैंन्टीन, परम्परागत खाद्य पदार्थों का विपणन एवं हथकरघा के क्षेत्र में उल्लेखनीय कार्य कर रही है। उन्होंने कहा कि जो सहायता समूह सक्रिय है, जिलाधिकारी उनके खाते में 5000 हजार रूपये जमा करेंगे और 25000 हजार रूपये बाद में जो अच्छा कार्य करेंगे उन्हें दिया जायेगा जो सामूहिक खेती सहित अन्य कार्य कलस्टर बनाकर करेंगे उन्हें 1 लाख रूपये दिया जायेगा साथ ही 5 प्रतिशत बोनस भी दिया जायेगा। मनरेगा एवं दुग्ध व्यवसाय के अन्तर्गत काम कर रही महिलाओं को विशेष प्रोत्साहन दिया जायेगा। विद्यालयों में बच्चों की पढाई को ध्यान में रखते हुये सभी विद्यालयों में शिक्षकों की तैनाती को प्राथमिकता दी जायेगी। अन्न सुरक्षा कार्यक्रम के अन्तर्गत एपीएल कार्ड धारकों को भी इस योजना से जोडा गया है।
मुख्यमंत्री हरीश रावत ने भारत रत्न पूर्व प्रधानमंत्री स्व0 राजीव गांधी के जन्म दिवस के पूर्व संध्या पर न्यू कैन्ट रोड स्थित मुख्यमंत्री आवास में उपस्थित महिलाओं को सम्बोधित करते हुए कहा कि हम मातृ शक्ति का सम्मान करते है। आज राज्य सरकार जन्म से वृ़द्धावस्था तक प्रत्येक स्तर पर उनके साथ है। राज्य सरकार कन्या जन्म पर निर्धन परिवारों को 5000 रूपये प्रदान करती है। बालिकाओं की शिक्षा के प्रोत्साहन के लिए गौरादेवी योजना संचालित है। लड़कियों के विवाह के अवसर पर नन्दा देवी योजना के अन्र्तगत निर्धन वर्ग की लड़कियों को आर्थिक सहायता दी जा रही है। गर्भावस्था में उनकों पौष्टिक अनाज व अन्य सहायता उपलब्ध करवायी जा रही है इनमें आंगनबाड़ियों की महत्वपूर्ण भूमिका है। 60 वर्ष से अधिक आयु की महिलाओं को राज्य सरकार द्वारा पेंशन उपलब्ध करवायी जा रही है। वृद्ध महिलाओं को रोडवेज की बसों में निःशुल्क यात्रा की सुविधा दी गयी है साथ ही मेरे बुर्जुग मेरे तीर्थ योजना के अन्र्तगत उन्हें चारधाम यात्रा निःशुल्क करवायी जा रही है। राज्य सरकार द्वारा कमजोर बच्चों को आंगनबाडी के माध्यम से पौष्टिक आहार उपलब्ध करवाया जा रहा है।
मुख्यमंत्री ने महिलाओं से अनुरोध किया कि कमजोर बच्चों को आंगनबाड़ी में ले जाया जाय। महिलाओं को 5 रूपये प्रति लीटर बोनस प्रदान किया जा रहा है। निर्धन विधवा महिलाओं को गंगा गाय योजना के अन्र्तगत गाय प्रदान की जा रही है। इन्दिरा अम्मा भोजनालय योजना महिलाओं के लिए संचालित की गयी है। महिला स्वयं सहायता समूह द्वारा स्थानीय उत्पादों को बेचने के प्रयासो को राज्य सरकार द्वारा प्रोत्साहन दिया जा रहा है। राज्य सरकार महिला स्वयं सहायता समूहों व महिला मंगल दलों से प्राप्त स्थानीय उत्पादों की बिक्री से जितनी भी आय प्राप्त करेगी उसका 5 प्रतिशत महिला मंगल दलो व स्वय सहायता समूहों को दिया जायेगा। 5000 रूपये की आरम्भिक राशि से महिला मंगल दलों के खाते खोले जायेगे। व्यवसायिक गतिविधियाॅं आरम्भ करने के लिए महिला स्वयं सहायता समूहों को 20 से 25 हजार तक का अनुदान प्रदान किया जायेगा। आर्थिक स्वालम्बन ही महिला सशक्तीकरण की कुंजी है। राज्य सरकार विश्वास करती है कि अब नारी शक्ति ही उत्तराखण्ड के विकास के द्वार खोलेगी।
मुख्यमंत्री ने कहा कि राज्य सराकर राज्य में महिला सशक्तिकरण पर विशेष बल दे रही है। राज्य में महिला उद्यमिता के विकास, महिला मंगल दल तथा स्वयं सहायता समूहों को प्रोत्साहित किया जा रहा है।