100 अपराध या 100 अपशब्द नही बल्कि एक स्त्री के बारे में गलत बोलने के कारण कृष्ण ने शिशुपाल को मारा
शिशुपाल का सर और धड़ कृष्ण ने पांडवो के राजसूय यज्ञ में भरी सभा मे सुदर्शन चक्र से अलग कर दिया था। शिशुपाल जरासंध का सेनापति था जिसको इस राजसूय यज्ञ के पहले भीम ने कृष्ण की सहायता से मल्ल युद्ध मे मार दिया था।
शिशुपाल की बेटी करेणुमती नकुल की पत्नी थी इस नाते वो पांडवो का संबंधी था।
वो कृष्ण की बुआ का पुत्र भी था, इसलिए जब राजसूय यज्ञ में उसने श्री कृष्ण की पूजा का विरोध किया और उनको गालियां देना शुरू किया तो कृष्ण उसको माफ करते रहे।
ये कहानी भी अजीब लगती है कि वो पैदा हुआ तो उसके तीन आँखे और चार हाथ थे, फिर कृष्ण मिलने गए तो एक आंख और दो हाथ गायब हो गए और आकाशवाणी हुई कि कृष्ण इसको मारेंगे और बुआ ने कृष्ण से 100 अपराध क्षमा करने का वचन लिया।
कृष्ण और पांडव लगभग हम उम्र थे, शिशुपाल नकुल का ससुर था मतलब उम्र में कृष्ण से बहुत बड़ा होगा। उसके पैदा होने के समय तो कृष्ण होंगे भी नही तो कैसे उसको देखने गए और वचन कब दिया ।
कृष्ण की पटरानी रुक्मिणी का विवाह उनके भाई रुक्मी ने शिशुपाल से तय किया था जो उनकी पिता के उम्र का रहा होगा। सोचिये महाभारत काल मे स्त्रियों का इस्तेमाल सिर्फ राजनीतिक फायदे के लिए होता था , रुक्मिणी के माध्यम से रुक्मी शिशुपाल से नजदीकी बढ़ाना चाहता था।
पर रुक्मिणी ने कृष्ण से शादी की इस बात से शिशुपाल को इन दोनों से खुन्नस थी।
जब राजसूय यज्ञ में शिशुपाल ने कृष्ण को गालियां दी तो वो सुनते रहे पर जैसे ही शिशुपाल ने रुक्मिणी के बारे में गलत बोला तो उन्होंने उसको चेतावनी दी कि नारी का अपमान मत करो,फिर भी नही माना तो उसको मार डाला और कहा कि नारी का अपमान करने वाले को मार ही डालना चाहिए।
100 अपराध या 100 अपशब्द नही बल्कि एक स्त्री के बारे में गलत बोलने के कारण कृष्ण ने शिशुपाल को मारा ।
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