व्हाट्सएप पर फेक न्यू, अफवाहों पर रोक का फीचर्स लॉन्च

TOP NATIONAL NEWS 14 JULY 2018

व्हाट्सएप पर अगर संदिग्ध लिंक आएगा तो एेप उस मेसेज के आगे लाल कलर का मार्क लगा देगा। इस मार्क से यूजर को यह पता चल जाएगा कि यह लिंक स्पैम, फिंशिग लिंक या फेक न्यूज है। व्हॉट्सएप ने अपना एक नया फीचर लॉन्च किया है. फीचर की मदद से अब यूजर को इस बात का पता चल पाएगा कि किसी सेंडर के जरिए भेजा गया मैसेज फॉरवर्ड किया गया है या उसे अपनी तरफ ने बनाकर यानी की क्रिएट कर भेजा गया है. इस फीचर की मदद से अब दो यूजर के बीच बातचीत और ग्रुप चैट में बात करना और आसान हो जाएगा. जिससे व्हॉट्सएप पर फैल रही अफवाहों पर रोक लगाई जा सकेगी. व्हॉट्सएप ने अपने पोस्ट में खुलासा किया कि यूजर अब आसानी से इस बात का पता लगा पाएंगे कि उनके रिश्तेदार ने मैसेज को खुद टाइप कर भेजा है या उसे फॉरवर्ड किया गया है.
व्हॉट्सएप कई दिनों से फेक मैसेज और गलत जानकारी को लेकर संघर्ष कर रहा था. बता दें कि ये मुद्दा कई दिनों से सोशल मीडिया पर छाया हुआ है. जिसे देखते हुए व्हॉट्सएप ने आखिरकार ये कदम उठाया है. दरअसल व्हॉट्सएप में इस फीचर को लाना काफी मुश्किल था क्योंकि व्हॉट्सएप के सारे मैसेज एंड टू एंड एनक्रिप्टेड होते हैं.

दुनिया की सबसे बड़ी मेसेंजिंग कंपनी व्हाट्सएप ने अपने यूजर्स के लिए हाल ही में कई नए फीचर्स लॉन्च किए थे। इन फीचर्स में कंपनी ने ग्रुप विडियो कॉलिंग, फॉरवर्डेड मेसेज शामिल है। इसके साथ ही कंपनी व्हट्सएप के लिए एक और नए फीचर पर काम कर रही है और इस फीचर को मार्क एंड रीड का नाम दिया है।

भारत सरकार की झाड़ के बाद उठाया कदम

देश के कई इलाकों में व्हॉट्सएप पर प्रसारित ‘बच्चा चोरी’ की झूठी खबरों, अफवाहों की वजह से भीड़ के पीट-पीट कर लोगों को जान से मार देने की कई हालिया घटनाएं हुई हैं. इस संबंध में पिछले हफ्ते सूचना प्रौद्योगिकी मंत्री रवि शंकर प्रसाद ने व्हॉट्सएप से ज्यादा जिम्मेदारी सुनिश्चित करने के लिए कहा था. साथ ही कहा था कि सरकार इस मामले में मंच के फर्जी खबर फैलाने के लिए उपयोग किए जाने को सहन नहीं करेगी. बता दें कि इस फीचर में व्हॉट्सएप ने ग्रुप एडमिनिस्ट्रेटर्स को और पॉवर दी है तो वहीं एक लैबलिंग मैसेज जैसा एक जरूरी फीचर भी दिया है जिससे ऐसे अफवाहों पर अब लगाम लगाया जा सकेगा.

एक रिपोर्ट के अनुसार, कंपनी ने इस नए फीचर को व्हट्सएप के बीटा वर्जन पर टेस्टिंग के लिए पेश करने जा रही है। इस नए फीचर के तहत यूजर्स सीधा ही नोटिफिकेशन को मार्क एंड रीड कर सकेंगे और इससे यूजर्स का समय भी बचेगा। लेकिन अब तक यह फीचर बीटा वर्जन पर उपलब्ध नहीं हुआ है और इसमें सुधार भी किए जा रहे है।
इस रिपोर्ट में यह भी बताया है कि इस नए फीचर मार्क एेज रीड बटन को रिप्लाई बटन के आगे लगाया जाएगा। इसके साथ ही व्हाट्सएप सस्पीशस लिंक डिटेक्शन फीचर पर भी काम कर रहा है और इस फीचर से यूजर्स को किसी भी संदिग्ध लिंक की जानकारी दी जा सकती है।
फेक न्यूज को रोकने के लिए ही कंपनी इस फीचर का निर्माण कर रही है। व्हाट्सएप पर अगर कोई लिंक आता है तो सबसे पहले एेप इस लिंक की वेबसाइट की जानकारी लेगा और अगर कुछ गलत लगा तो यूजर्स को इसकी जानकारी दे देगा।

व्हाट्सएप को चुनौती देने के लिए देशी मोबाइल एप किंभो ने अब अपने वर्जन को अपडेट कर ‘बोलो मेसेंजर’ में बदल दिया है। पतंजलि योगपीठ के प्रवक्ता एसके तिजारावाला ने बताया कि किंभो एप की रिब्रांडिंग नहीं की गई है बल्कि किंभो एप लेटेस्ट वर्जन पर काम चल रहा था। एप की डेवलपर अदिति कमल ने ईमेल के जरिए बताया कि भारतीय को लिए व्हाट्सएप के विकल्प के रूप में ‘बोले एप’ अब एंड्रॉयड के मोबाइल के लिए डाउनलोडिंग के मौजूद है। iOS यूजर्स के लिए भी इसे जल्द ही मुहैया कराया जाएगा। उन्होंने आगे बताया, जो यूजर्स, जिन्होंने अभी इसे इंस्टॉल नहीं किया या अभी तक किंभो एप का इस्तेमाल कर रहे हैं, लिंक जरिए बोले एप को अपडेट कर सकते हैं। ‘बोलो एप’ अपडेट करने के लिए इसे एसएमएस के जरिए अपडेट करना होगा। पूर्व में किंभो एप रहा बोले एप को लंबे समय बाद नए वर्जन के साथ बाजार में उतारा गया है।

बता दें कि मई के आखिर में बाजार में उतारा गया रामदेव का स्वदेशी मोबाइल एप किंभो एक बुरी तरह तैयार व्यापारिक योजना बनकर रह गया था। दावा किया गया कि इसे व्हाट्सएप की जगह लेने के लिए बाजार में उतारा गया है। वित्तवर्ष 2017 में 10,561 करोड़ रुपए का टर्नओवर करने वाली कंपनी पतंजलि ने पहले तो लोगों से इस एप को गूगल प्ले स्टोर से डाउनलोड करने को कहा, फिर इसके तुरंत खत्म होने के लिए इंटरनेट पर अत्यधिक ट्रैफिक को दोष दिया, उसके बाद में कहा कि यह सिर्फ एक दिवसीय परीक्षण था और अब पतंजलि ने इसे दोबारा लांच करने के लिए दो और महीनों का वक्त मांगा था। यह एप 31 मई को गूगल प्ले स्टोर पर आने के अगले दिन ही सुरक्षा और प्रदर्शन में कमियों के कारण गायब हो गया था। इससे देश की प्रौद्योगिकी उद्योग को झटका लगा था। किंभो एक संस्कृत शब्द है जिसका अर्थ है- आप कैसे हैं? या क्या चल रहा है? इसमें मैसेजिंग एप, टीवी और कई अन्य विशेषताओं का दावा किया गया था। अब प्रश्न उठता है कि इस एप को लांच करने की जल्दबाजी क्या थी? इसे फेसबुक के अधिग्रहण वाले व्हाट्सएप के लिए चुनौती के तौर पर पेश किया गया था। व्हाट्सएप के वैश्विक उपभोक्ता लगभग 1.5 अरब और भारत में 20 करोड़ हैं।

फ्रांस के प्रसिद्ध सुरक्षा अनुसंधानकर्ता इलियट एल्डरसन ने ट्विटर पर किम्भो को सुरक्षा के मामले में विध्वंसकारी बताते हुए कहा, “यह किम्भो एप एक मजाक है, अगली बार संवाददाता सम्मेलन बलाने से पहले सक्षम डेवलपर्स से काम कराएं.. अगर कुछ स्पष्ट नहीं है, तो तत्काल इसे इंस्टॉल न करें।” देश के प्रमुख सोशल मीडिया विशेषज्ञ अनूप मिश्रा ने कहा, “जहां व्हाट्सएप जैसा एक मैसेजिंग एप बनाकर फेसबुक को 19 अरब डॉलर में बेचा गया, वहीं स्वदेशी एप किम्भो लांच करने वाली पतंजलि की कुल संपत्ति लगभग 2.5 अरब डॉलर है। पतंजलि का आईटी क्षेत्र में शून्य योगदान है, इसलिए यह उपक्रम पहले चरण में ही विफल होनी थी।”

(2)अमित शाह का बड़ा बयान
राम मंदिर को लेकर बीजेपी के राष्ट्रीय अध्यक्ष अमित शाह का बड़ा बयान आया है. न्यूज़ एजेंसी आईएएनएस की रिपोर्ट के मुताबिक, अमित शाह ने कहा है कि 2019 के चुनाव से पहले राम मंदिर का निर्माण शुरू हो जाएगा. आईएएनएस की रिपोर्ट में कहा गया है कि बीजेपी कार्यकारिणी सदस्य पी शेखरजी ने अमित शाह के हवाले से यही बयान मीडिया को दिया है. हालांकि बीजेपी की तरफ से शाह के इस बयान का खंडन किया गया है.

दरअसल तेलंगाना के बीजेपी प्रभारी पराला शेखर ने कहा, ”अमित शाह ने कहा है कि जो हो रहा है उसे देखते हुए लगता है कि 2019 के पहले राम मंदिर का काम शुरू हो जाएगा.” इसके बाद पराला ने एबीपी न्यूज़ से यह भी कहा , ”जो कहना था कह दिया. अब जो कहना है वो केंद्रीय नेतृत्व कहेगा.”
वहीं, पराला शेखर के इस बयान का तेलंगाना के बीजेपी विधायक रामचंद्र राव ने खंडन करते हुए कहा है, ”अमित शाह ने राम मंदिर निर्माण को लेकर कुछ नहीं कहा था. दरअसल कार्यकर्ता ने राम मंदिर को लेकर उनसे एक सवाल किया था, जिसके बाद अमित शाह की तरफ से साफ किया गया था कि जो मामला है वह अदालत में है. अदालत के फैसले का इंतजार किया जाएगा.” रामचंद्र राव ने आगे बताया कि शाह की व्यक्तिगत राय थी कि लोकसभा चुनाव से पहले जल्द-जल्द राम मंदिर का काम शुरु हो.”
राम मंदिर का मुद्दा फिलहाल सुप्रीम कोर्ट में है. साल 1989 में राम जन्म भूमि और बाबरी मस्जिद ज़मीन विवाद का ये मामला इलाहाबाद हाईकोर्ट पहुंचा था. 30 सितंबर 2010 को जस्टिस सुधीर अग्रवाल, जस्टिस एस यू खान और जस्टिस डी वी शर्मा की बेंच ने अयोध्या विवाद पर अपना फैसला सुनाया. फैसला हुआ कि 2.77 एकड़ विवादित भूमि के तीन बराबर हिस्सा किए जाए. राम मूर्ति वाला पहला हिस्सा राम लला विराजमान को दिया गया. राम चबूतरा और सीता रसोई वाला दूसरा हिस्सा निर्मोही अखाड़ा को दिया गया और बाकी बचा हुआ तीसरा हिस्सा सुन्नी वक्फ बोर्ड को दिया गया. इलाहाबाद हाईकोर्ट के इस फैसले को हिन्दू महासभा और सुन्नी सेंट्रल वक्फ बोर्ड ने सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दे दी. 9 मई 2011 को सुप्रीम कोर्ट ने पुरानी स्थिति बरकरार रखने का आदेश दे दिया, तब से यथास्थिति बरकरार है.

(3)बारिश और बाढ़ ने आधे हिन्दुस्तान में भारी तबाही मचा रखी
बारिश और बाढ़ ने आधे हिन्दुस्तान में भारी तबाही मचा रखी है. गुजरात में कल तक बाढ़ और बारिश से 22 लोगों की मौत हो गई है. वहीं राजस्थान, महाराष्ट्र, बिहार और जम्मू-कश्मीर सहित कई राज्यों में भी बाढ़ जैसे हालात हैं. कल एक घंटे की बारिश से दिल्ली का हाल बेहाल हो गया था. दिल्ली के कनॉट प्लेस के पास मिंटो रोड पर 10 फीट ऊंची बस का 8 फीट हिस्सा पानी में डूब गया था. दिल्ली में आज भी भारी बारिश होने के आसार हैं. कल एक घंटे की बारिश से दिल्ली का हाल बेहाल हो गया था. दिल्ली के कनॉट प्लेस के पास मिंटो रोड पर 10 फीट ऊंची बस का 8 फीट हिस्सा पानी में डूब गया. आज के मौसम की बात करें तो हरियाणा, नार्थ राजस्थान और दिल्ली के कुछ इलाकों में भारी बारिश हो सकती है. उत्तर भारत में मूसलाधार बारिस होने से कई राज्यों में सड़कों पर जलभराव और यातायात जाम के साथ साथ कई परेशानियां खड़ी हो गयीं. राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली में आज भारी बारिश हुई जिससे यात्रियों को बड़ी मुश्किल हुई. बारिश से पहले दोपहर में इतना घने बादल छा गये कि सड़क पर चल रहे वाहनों को हेडलाइट जलानी पड़ी. कुछ क्षेत्रों में पेड़ भी उखड़ गए.

मौसम विभाग के एक अधिकारी ने कहा कि सफरदरजंग की वेधशाला के अनुसार शहर में सुबह साढ़े आठ बजे से लेकर शाम साढे़ पांच बजे तक 52.4 मिलीमीटर बारिश हुई. इस वेधशाला की रिकार्डिंग दिल्ली का आधिकारिक आंकड़ा मानी जाती है. पिछले 24 घंटे में हिमाचल प्रदेश के कांगड़ा में 90.3 मिलीमीटर और पालमपुर 75 मिलीमीटर बारिश हुई.

उत्तराखंड के चंपावत जिले में रुक-रुक कर बारिश जारी है. बारिश से हुई लैंडस्लाइड के चलते मलबा नेशनल हाईवे 125 पर आ गया. जिसके बाद से नेशनल हाईवे पर आवाजाही बंद है. बारिश में भूस्खलन की आशंका के चलते कुछ जगहों पर आवाजाही पर फिलहाल रोक लगा दी गई है. 

पंजाब में अमृतसर, लुधियाना, पटियाला, जालंधर, चंडीगढ़, और वेस्ट यूपी में बुलंदशहर, बरेली, एटा, बदायूं में मध्यम से भारी जारी रहेगी. जम्मू कश्मीर, हिमाचल और उत्तराखंड के कई शहरों में मध्यम से भारी बारिश जारी रहने के आसार हैं. इन राज्यों में भूस्खलन की आशंका को देखते हुए बेहतर होगा कि वीकेंड पर हिल स्टेशनों पर जाने से बचें.
राजस्थान के फतेहपुर शेखावटी में कल हुई बारिश से पूरा शहर पानी-पानी हो गया. शहर में हुई पहली बारिश ने ही नगरपालिका के दावों की पोल खोलकर रख दी. थोड़ी देर हुई बारिश के बाद सड़कों पर घुटनों तक पानी भर गया.
मानसून पूरे महाराष्ट्र में कहर बरपा रहा है. राज्य के कई इलाकों में पिछले 48 घंटों में हुई बारिश के चलते बाढ़ जैसे हालात हो गए हैं. प्रदेश के कोल्हापुर जिले में भी तेज बारिश के बाद नदी-नाले उफान पर हैं और कई गांवों में पानी भर गया है. मौसम विभाग ने आने वाले दिनों में भी यहां तेज बारिश का अनुमान जताया है.
गुजरात के नवसारी जिले में लगातार के बाद अब तटीय इलाकों में रहने वाले लोगों को समुद्री आफत भी झेलने पड़ रही है. शुक्रवार को तेज हवाओं के चलते नवसारी के तट पर 35 से 40 फीट ऊंची लहरें उठीं. हाईटाइड के चलते समुद्र से सटे गांवों में पानी भर गया है, जिससे यहां रहने वालों की मुश्किल और भी ज्यादा बढ़ गयी है. राज्य में अबतक 22 लोगों की मौत हो गई है.
जम्मू-कश्मीर के डोडा में हुई तेज बारिश के बाद कोटी नाले में पानी का बहाव अचानक बढ़ गया, जिसके चलते नाले से सटी सड़क का हिस्सा पानी में बह गया. रोड बहने की वजह से यहां को लोगों को आवाजाही में काफी दिक्कत हो रही है
जम्मू-कश्मीर के राजौरी में भी लगातार बारिश हो रही है. बारिश के चलते राजौरी की छोटी नदियों में भी जलस्तर काफी बढ़ गया है, जिससे आसपास के इलाकों में बाढ़ का खतरा पैदा हो गया. प्रशासन की ओर से नदियों के आसपास के इलाकों में रहने वाले लोगों के लिए अलर्ट जारी किया गया है. बिहार के सहरसा में कोसी का जलस्तर बढ़ने के बाद नदी के किनारे रहने वाले लोग बेहद डरे हुए हैं. बारिश के बाद कटाव के चलते कोसी नदी का पानी पुराने तटबंध के पास आ गया है. तटबंध के आसपास रहने वाले लोग भजन कीर्तन कर ईश्वर से प्रार्थना कर रहे हैं कि कोसी में बाढ़ न आए वरना इन लोगों के सामने जान माल का खतरा पैदा हो जाएगा. मध्य प्रदेश के कई शहरों में आज भीषण बारिश जारी रहने की संभावना है. जिससे जबलपुर, भोपाल, इंदौर, देवास और आसपास के शहरों में बाढ़ का संकट और बढ़ सकता है. गुजरात में कच्छ को छोड़कर अधिकतर शहरों में अगले कुछ दिनों तक राज्य में अच्छी बारिश बनी रहेगी. मुंबई में भी आज से बारिश बढ़ सकती है.

(4)कांग्रेस ने बीजेपी और पीडीपी पर नूराकुश्ती का आरोप लगाया
कांग्रेस ने बीजेपी और पीडीपी पर नूराकुश्ती का आरोप लगाया और कहा कि पिछले चार सालों में नरेंद्र मोदी सरकार देश को यह नहीं बता पाई कि जम्मू-कश्मीर को लेकर उसकी नीति क्या है?
पार्टी के मुख्य प्रवक्ता रणदीप सुरजेवाला ने संवाददाताओं से कहा, ‘‘भारतीय जनता पार्टी और पीडीपी ने सत्ता के लालच में एक गठबंधन किया था. आज आए दिन पाकिस्तान प्रायोजित आतंकवादी भारत की सरजमीं पर बेखौफ हमला करते हैं. 49 महीने बीत जाने के बाद कि मोदी सरकार यह नहीं बता पाई कि पाकिस्तान को लेकर उसकी नीति क्या है? ’’
उनकी यह टिप्पणी जम्मू-कश्मीर की पूर्व मुख्यमंत्री महबूबा मुफ्ती के उस कथित बयान पर आई है जिसमें कहा गया है कि अगर उनकी पार्टी को तोड़ने की कोशिश की गई तो ये देश के लिए खतरनाक होगा
सुरजेवाला ने दावा किया, ‘‘हमारे 300 से अधिक सैनिकों को मोदी जी की ढुल-मुल नीति के चलते वीरगति को प्राप्त होना पड़ा. लेकिन पीडीपी और बीजेपी नूरा-कुश्ती खेल रहे हैं. इसे राज्य के लोग समझ चुके हैं.’’

(5) भगवान जगन्नाथ की भव्य रथयात्रा
अहमदाबाद: आज आषाढ़ शुक्ल पक्ष की द्वितीया तिथि है. आज ओडिशा के पुरी और गुजरात के अहमदाबाद में भगवान जगन्नाथ की भव्य रथयात्रा निकाली जा रही है. बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह रथयात्रा से पहले अहमदाबाद में मंगला आरती में पहुंचे थे. अहमदाबाद में मुख्यमंत्री विजय रूपाणी ने सोने की झाड़ू लगाकर सुबह सात बजे रथयात्रा को रवाना किया. ओडिशा के पुरी में भी सुबह 10 बजे रथयात्रा शुरू हो गई थी. पुरी में करीब 15 लाख श्रद्धालु रथयात्रा के दौरान मौजूद हैं. महाराष्ट्र के पंढरपुर में श्रीकृष्ण के अवतार विठोबा की पदयात्रा निकाली जा रही है.
पुरी में भगवान जगन्नाथ की रथयात्रा शुरू हो गई है. अहमदाबाद में भी रथयात्रा जारी है.
पुरी में भगवान जगन्नाथ की रथयात्रा की सभी तैयारियां पूरी कर ली गई हैं. कुछ ही देर में रथयात्रा शुरू हो जाएगी. रथयात्रा में श्रद्धालुओं का सैलाब उमड़ा हुआ है.
पुरी में रथयात्रा शुरू होने का इंतजार है. थोड़ी देर में पुरी के पूर्व महाराजा दिव्य देव सिंह रथ के आगे झाडू लगाकर रथों को गंडीचा मंदिर के लिए रवाना करेंगे.
अहमदाबाद में रथयात्रा सरसपुर के रणछोड़दास मंदिर की तरफ बढ रही है. रास्ते भर गूंज रहे हैं जय जगन्नाथ के जयकारे.
ओडिशा के पुरी में भी रथयात्रा की तैयारी पूरी कर ली गई हैं. भगवान जगन्नाथ जी का रथ पीले और लाल रंग के कपड़ों से बना है, जिसमें 16 पहिए लगे हैं जबकि बलभद्र जी का रथ हरे और लाल रंग का है, इसमें 14 पहिए लगे हैं. सुभद्रा जी का रथ काले और लाल रंग के कपड़ों का बना है. इसमें 12 पहिए लगे हैं. लकड़ी के बने इन रथों को भक्त रस्सियों से खींचते हैं.
अहमदाबाद में रथयात्रा भगवान जगन्नाथ के मुख्य मंदिर से सरसपुर के रणछोड़दास मंदिर तक जाएगी. भगवान जगन्नाथ, बलभद्र और सुभद्रा के रथ यहां करीब दो घंटे रुकेंगे. सरसपुर के रणछोड़दास मंदिर को भगवान जगन्नाथ का ननिहाल कहा जाता है.अहमदाबाद में मंत्रोच्चार के साथ मंगला आरती के पहले भगवान जगन्नाथ का भव्य स्नान और अभिषेक किया गया. मान्यता के मुताबिक भगवान जगन्नाथ स्वस्थ होने के बाद रथ के जरिए शहर में निकलते हैं.
मुख्यमंत्री विजय रूपाणी ने झाड़ू लगाकर सुबह सात बजे रथयात्रा को रवाना कर दिया है. सीएम रूपाणी अपने पूरे परिवार के साथ रथयात्रा में दर्शन के लिए पहुंचे हैं. रथयात्रा से पहले झाड़ू लगाने को पहिंद विधि कहा जाता है. रथयात्रा में राज्य के प्रमुख यानी सीएम की तरफ से भगवान के स्वागत की परंपरा है. इसका संदेश ये है कि जगत के स्वामी जगन्नाथ हैं और सभी उनके सेवक हैं.
प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने ट्वीट कर देश को जगन्नाथ रथयात्रा की शुभकामनाएं दी हैं. पीएम मोदी ने कहा है कि भगवान जगन्नाथ के आशीर्वाद से देश नई ऊंचाइयों पर पहुंचे.

(6) गुजरात से कांग्रेस के लिए लगातार बुरी खबरें
2019 में होने वाले आम चुनावों से पहले गुजरात से कांग्रेस के लिए लगातार बुरी खबरें आ रही हैं. पहले कोली समाज के बड़े नेता कुंवरजी वावड़िया ने भाजपा का दामन थामा. शनिवार (14 जुलाई 2018) को कांग्रेस के दिग्गज नेता रहे शंकर सिंह बाघेला के पुत्र महेंद्र सिंह वाघेला ने भाजपा ज्वाइन कर ली है. गुजरात के वित्त मंत्री नितिन पटेल और भाजपा नेता जीतू वाघाणी ने उन्हें पार्टी में शामिल किया. शंकर सिंह वाघेला राजपूत समाज के बड़े नेता माने जाते हैं, ऐसे में उनके बेटे का भाजपा के साथ जुड़ना कांग्रेस के लिए एक बड़े झटके के समान है. हालांकि पिछले गुजरात में हुए राज्यसभा चुनावों के समय महेंद्र सिंह ने कांग्रेस छोड़ दी थी, लेकिन वह भाजपा में शामिल नहीं हुए थे.

महेंद्र सिंह गुजरात के बनासकांठा की बायड विधानसभा सीट से कांग्रेस के विधायक रह चुके हैं. अब देखना ये है कि क्या भाजपा 2019 के चुनाव में महेंद्र सिंह को लोकसभा का टिकट देती है या नहीं. वैसे बनासकांठा क्षेत्र में उनका और उनके पिता का अच्छा खासा प्रभाव है. ऐसे में भाजपा उन्हें टिकट दे सकती है, लेकिन कांग्रेस के लिए एक बड़ा झटका माना जा रहा है. गौरतलब है कि शंकर सिंह वाघेला ने गुजरात में अपनी राजनीति जनसंघ से शुरू की थी. बाद में भाजपा छोड़कर उन्होंने अपनी पार्टी बनाई और कांग्रेस के सहयोग से सरकार बनाई. इसके बाद वह कांग्रेस में शामिल हो गए. यूपीए 1 में वह केंद्र में मंत्री भी रहे. पिछली विधानसभा में कांग्रेस में रहते हुए वह नेता विपक्ष के पद पर रहे थे, लेकिन चुनाव से ठीक पहले उन्होंने कांग्रेस छोड़ दी थी. इससे पहले राज्यसभा के चुनाव में भाजपा ने महेंद्र सिंह के सहयोगी वलवंत सिंह राजपूत को टिकट दिया था. हालांकि अहमद पटेल के सामने वह चुनाव हार गए थे. अब भाजपा ने खुद महेंद्र सिंह को पार्टी में शामिल कर गुजरात की राजनीति को फिर से गर्मा दिया है. आने वाले चुनावों में वह राजपूत वोटों के लिहाज से काफी अहम साबित होंगे.

(7)शशि थरूर को कोलकाता उच्च न्यायालय ने समन भेजा
‘हिंदू-पाकिस्तान’ बयान पर शशि थरूर को कोलकाता उच्च न्यायालय ने समन भेजा है। कोर्ट ने शशि थरूर को 14 अगस्त को पेश होने के लिए कहा है। समाचार एजेंसी एएनआई की खबर के अनुसार ‘हिंदू-पाकिस्तान’ बयान को लेकर एडवोकेट सुमित चौधरी ने एक केस दर्ज कराई है। सुमित चौधरी का कहना है कि ‘हिंदू-पाकिस्तान’ बयान से संविधान व धर्म का अपमान हुआ है। इस केस पर सुनवाई करते हुए कोर्ट ने शशि थरूर को कोर्ट मे पेश होने के लिए नोटिस भेजी है। बता दें कि कांग्रेस के दिग्गज नेता शशि थरूर ने हाल ही में ‘हिंदू-पाकिस्तान’ को लेकर विवादित बयान दिया था। इसके बाद सियासी जंग शुरू हो गई। भाजपा ने इसके लिए माफी मांगने की बात रखी लेकिन श्री थरूर ने माफी मांगने से साफ मना कर दिया था।

 

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