UK हाईकोर्ट का केन्द्र सरकार को नोटिस,आचार्य बालकृष्ण ने कहा सुनियोजित भ्रम और षड़यंत्र & Top UK News 30 June 20

30 June 20# Himalayauk Newsportal & Daily Newspaper. Publish at Dehradun & Haridwar. Mail us: csjoshi_editor@yahoo.in & himalayauk@gmail.com Mob. 9412932030

High Light: UK हाईकोर्ट का केन्द्र सरकार को नोटिस :आचार्य बालकृष्ण ने कहा सुनियोजित भ्रम और षड़यंत्र #औषधीय खेती एवं जैविक खेती को बढ़ावा दिए जाने की आवश्यकता- केन्द्रीय कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री # कई ऐसे महत्वपूर्ण कार्यक्रम है जो बीस सूत्री कार्यक्रम के अन्तर्गत शामिल नहीं है – नरेश बंसल उपाध्यक्ष # भारतीय जनता युवा मोर्चा द्वारा लगातार वर्चुअल रैलियों का दौर # चमोली जनपद में अभी तक कुल 2454 लोगों की सैंपल रिपोर्ट नेगेटिव # # # # # # ####################

UK हाईकोर्ट का केन्द्र सरकार को नोटिस

आज उत्‍तराखंड हाईकोर्ट ने कोरोना के वायरस से निजात दिलाने वाली कोरोनील को लॉन्‍च करने के खिलाफ दायर याचिका पर केन्द्र सरकार को नोटिस जारी किया है. कोर्ट ने केन्द्र सरकार को कहा है कि वो अपना पक्ष कोर्ट में रखे. हाईकोर्ट पूरे मामले पर बुधवार सुनवाई करेगा.  

       नैनीताल. बाबा रामदेव व उनके सहयोगी आचार्य बालकृष्ण ने भले ही कोरोना की दवा बनाने के मामले पर यू-टर्न ले लिया हो मगर कोरोना की दवा बनाने का मामला हाईकोर्ट पहुंच गया है. आज हाईकोर्ट ने कोरोना के वायरस से निजात दिलाने वाली कोरोनिल टैबलेट लांच करने के खिलाफ़ दायर याचिका पर केन्द्र सरकार को नोटिस जारी किया है. हाईकोर्ट के वकील मणि कुमार की याचिका को सुवनाई के लिए स्वीकार कर कोर्ट ने केन्द्र सरकार को नोटिस जारी कर कोर्ट में कल ही अपना पक्ष रखने को कहा है. हाईकोर्ट कल, बुधवार को, भी इस मामले की सुनवाई करेगा.

बाबा रामदेव (Baba Ramdev) के सहयोगी आचार्य बालकृष्ण (Acharya Balkrishna) ने कोरोना की दवा कोरोनिल (Coronil) बनाने पर यू-टर्न ले लिया है. उन्‍होंने कहा कि हमने कभी ये नहीं कहा कि कोरोनिल कोरोना को ठीक या नियंत्रित करती है. हमने कहा था कि हमने एक दवा बनाई है, जो कि परीक्षण में कोरोना मरीज के लिए फायदेमंद साबित हुई है. इसमें कोई भ्रम नहीं है. त्तराखंड के आयुष विभाग को भेजे गए नोटिस का जवाब देते हुए पतंजलि आयुर्वेद ने कहा है कि उन्होंने कभी भी कोरोना की दवा बनाने का दावा नहीं किया था. उन्होंने कहा कि हां हम यह कह सकते हैं कि हमने ऐसी दवाई बनाई है, जिससे कोरोना के मरीज ठीक हुए हैं. आचार्य बालकृष्ण ने कहा कि पतंजलि आयुर्वेद अब भी अपने दावे और दवा पर कायम है. हमने कभी भी कोरोना वायरस की दवा बनाने का दावा नहीं किया है. सरकार की अनुमति और उनकी गाइडलाइन के हिसाब से जो दवा तैयार की गई है उससे कोरोना के मरीज ठीक जरूर हुए हैं. बता दें कि पिछले 23 जून को पतंजलि आयुर्वेद ने राजस्थान की निम्स यूनिवर्सिटी के साथ मिलकर कोरोना की दवा बनाने का दावा किया था. पतंजलि आयुर्वेद की ओर से जो दवा पेश की गई थी उसका नाम कोरोनिल और श्वासारी बटी रखा गया था.

पिछले मंगलवार यानी 23 जून को बाबा रामदेव और आचार्य बालकृष्ण ने कोरोना की सफल इलाज का दावा करते हुए ‘कोरोनिल’ टैबलेट के साथ एक कोरोना किट लॉंच की थी. उनके यह ऐलान करते ही ख़बर वायरल हो गई और केंद्र सरकार के आयुष मंत्रालय ने दिव्य योग फ़ार्मेसी और राज्य सरकार से इस मामले में स्पष्टीकरण तलब कर लिया था. इसके बाद उत्तराखंड का आयुष विभाग हरकत में आया और दिव्य योग फ़ार्मेसी को नोटिस जारी कर स्पष्टीकरण मांगा. दिव्य योग फ़ार्मेसी ने शुक्रवार को इसका जवाब दे दिया था जिसमें कहा गया कि उनकी ओर से कोरोना की दवा बनाने का कोई दावा नहीं किया गया.

आचार्य बालकृष्ण ने कहा सुनियोजित भ्रम और षड़यंत्र

आचार्य बालकृष्ण का कहना है कि इस मामले में सुनियोजित भ्रम और षड़यंत्र की बू आ रही है। उन्होंने साफ किया कि पतंजलि की ओर से कोरोनिल की दवाओं का क्लीनिकल कंट्रोल ट्रायल का रिजल्ट आउट किया गया था। इसे कोरोना वायरस की दवा कहकर प्रचारित नहीं किया गया है।   उन्होंने कहा कि गिलोय, अश्वगंधा और तुलसी के कंपाउंड पर क्लीनिकल कंट्रोल ट्रायल किया गया था। कंपाउंड के बेस पर ही कोरोनिल बनाई गई थी, जिसका रिजल्ट देश के सामने रखा गया। हमने इम्यूनिटी बूस्टर के लिए लाइसेंस लिया और उसी के लिए यह दवाइयां बनाई है। दवाई के अंदर कहीं भी ये जिक्र नहीं किया गया कि ये कोरोना वायरस की दवाई है। बालकृष्ण ने ये भी दावा किया है कि क्लीनिकल ट्रायल के दौरान ये दवाइयां मरीजों को दी गई और उससे कोरोना संक्रमित मरीज ठीक हुए हैं। उनका साफ तौर पर कहना है कि हमने कोरोना वायरस की दवाई को लेकर कोई प्रचार-प्रसार नहीं किया। बल्कि जनता के सामने ये बात रखी है कि जो दवाई बनाई गई है उससे कोरोना संक्रमित मरीज ठीक हुए हैं। 

केंद्रीय आयुष मंत्रालय ने आज दिव्य योग फ़ार्मेसी को इस मामले में क्लीन चिट दे दी है. केंद्र ने कहा कि दिव्य योग फ़ार्मेसी इम्युनिटी बूस्टर की तरह इसका प्रचार कर सकती है और बेच सकती है और आयुष मंत्रालय के दिशानिर्देशों के मुताबिक क्लीनिकल ट्रायल भी जारी रख सकती है.

इधर अधिवक्ता मनि कुमार ने हाईकोर्ट में जनहित याचिका दाखिल कर इस दवा को बाजार में बैन करने की मांग की है. याचिका में कहा गया है कि दवा कम्पनी ने आईसीएमआर द्वार जारी गाइडलाइन का पालन नहीं किया तो आयुष मंत्रालय भारत सरकार की भी अनुमति नहीं ली. इसके अलावा आयुष विभाग उत्तराखण्ड से भी कोरोना की दवा बनाने के लिए अनुमति उसे नहीं मिली है.

याचिका में कहा गया है कि रोग प्रतिरोधक क्षमता बढ़ाने की आड़ में बाबा रामदेव ने कोरोनिल दवा का निर्माण किया. दिव्य योग फ़ार्मेसी ने निम्स विश्वविद्यालय राजस्थान द्वारा दवा का परीक्षण होना बताया गया जबकि निम्स का कहना है कि उन्होंने ऐसी किसी भी दवा का क्लिनिकल परीक्षण नहीं किया है.

याचिका में बाबा पर दवा का भ्रामक प्रचार करने के आरोप के साथ कहा गया है कि इसका क्लिनिकल परीक्षण नहीं किया गया है इसके उपयोग से शरीर में क्या साइडइफेक्ट होंगे इसकी कोई जानकारी नहीं है. याचिका में दवा की बिक्री को रोकने और भ्रामक प्रचार पर कानूनी कार्रवाई की मांग की गई है. हाईकोर्ट ने केंद्र सरकार को कल ही इस मामले में जवाब दाखिल करने को कहा है.

बीते 23 जून को बाबा रामदेव और आचार्य बालकृष्ण की कंपनी पतंजलि आयुर्वेद ने दावा किया कि उन्होंने कोरोना वायरस के इलाज की दवा बना ली है. राजस्थान की निम्स यूनिवर्सिटी के साथ मिलकर कोरोना की दवा बनाने का दावा कर रामदेव ने कोरोना-किट नाम से इसे लॉन्च भी किया. लॉन्च की गई दवा का नाम कोरोनिल और श्वासारी बटी था. दवा लॉन्च करने समय रामदेव और उनकी कंपनी ने दावा किया था कि इसका कई मरीजों पर परीक्षण किया गया था, जिसके नतीजे सकारात्मक आए थे. लेकिन इस दावे पर सवाल उठाते हुए आयुष मंत्रालय ने कंपनी को नोटिस भेजा था. इसके बाद उत्तराखंड ड्रग कंट्रोलर की ओर से भी नोटिस भेजा गया था.

बहरहाल, आज उत्‍तराखंड हाईकोर्ट ने कोरोना के वायरस से निजात दिलाने वाली कोरोनील को लॉन्‍च करने के खिलाफ दायर याचिका पर केन्द्र सरकार को नोटिस जारी किया है. कोर्ट ने केन्द्र सरकार को कहा है कि वो अपना पक्ष कोर्ट में रखे. हाईकोर्ट पूरे मामले पर बुधवार सुनवाई करेगा.  बाबा रामदेव व उनके सहयोगी ने कोरोना वायरस से निजात दिलाने के लिये पतंजलि की दिव्‍य योग फार्मेसी कम्पनी द्वारा कोरोनिल दवा को लॉन्‍च किया था जिसके बाद अब अधिवक्ता मनि कुमार ने हाईकोर्ट में जनहित याचिका दाखिल कर इस दवा को बाजार में बैन करने की मांग की है. याचिका में कहा गया है कि दवा कम्पनी ने आईसीएमआर द्वार जारी गाइडलाइन का पालन नहीं किया तो आयुष मंत्रालय भारत सरकार की भी अनुमति नहीं ली और ना ही आयुष विभाग उत्तराखण्ड से कोरोना की दवा बनाने के लिये आवेदन किया.

याचिका में कहा गया है कि रोग प्रतिरोधक क्षमता बढाने की आड़ में बाबा रामदेव ने कोरोनिल दवा निर्माण किया और कम्पनी द्वारा निम्स विश्वविघालय राजस्थान द्वारा दवा का परीक्षण होना बताया गया. जबकि निम्स का कहना है कि उन्होंने ऐसी किसी भी दवा का क्लीनिकल परीक्षण नहीं किया है. याचिका में बाबा पर दवा का भ्रामक प्रचार करने के आरोप के साथ कहा गया है कि इसका क्लीनिकल परीक्षण नहीं किया गया है. इसके उपयोग से शरीर में क्या साइडइफेक्ट होंगे इसकी कोई जानकारी नहीं है. याचिका में दवा को बाजार में रोकने और भ्रामक प्रचार पर कानूनी कार्रवाई की मांग की गई है.

उत्तराखंड आयुर्वेद विभाग के लाइसेंस अधिकारी वाईएस रावत का कहना है कि हमारे नोटिस का जवाब देते हुए पतंजलि ने कहा है कि उनके द्वारा कोई ‘कोरोना किट’ पैक नहीं किया गया है। पतंजलि ने ‘कोरोनिल’ पैकेजिंग पर कोरोना वायरस का प्रतिनिधि चित्र छापा है। उन्होंने ने बताया कि फिलहाल, कोरोनिल और दो अन्य दवाओं के नमूने परीक्षण के लिए ले लिए गए हैं, जिन्हें जांच के लिए भेज दिया गया है। संभवत: बुधवार तक इनकी रिपोर्ट आ जाएगी और इसी के आधार पर आगे की कार्रवाई की जाएगी। उनका कहना है कि हमने न दवा की बिक्री पर कोई रोक लगाई और न इस बावत कोई अनुमति दी है। केंद्रीय आयुष मंत्रालय ने दवा के विज्ञापन पर रोक लगाई है।

औषधीय खेती एवं जैविक खेती को बढ़ावा दिए जाने की आवश्यकता- केन्द्रीय कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री

देहरादून 30 जून, 2020 (सू.ब्यूरो)     केन्द्रीय कृषि एवं किसान कल्याण मंत्री श्री नरेन्द्र सिंह तोमर की अध्यक्षता में वीडियो कॉन्फ्रेंसिंग के माध्यम से भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद की 26 वीं बैठक में उत्तराखण्ड के उद्यान, कृषि एवं रेशम विकास विभाग मंत्री श्री सुबोध उनियाल ने प्रतिभाग किया।

केन्द्रीय मंत्री श्री नरेन्द्र सिंह तोमर ने कहा कि पिछले कुछ वर्षों में कृषि के क्षेत्र में महत्वपूर्ण कार्य हुए हैं, परन्तु अभी भी बहुत कुछ किए जाने की आवश्यकता है। उन्होंने कहा कि औषधीय खेती एवं जैविक खेती को बढ़ावा दिए जाने की आवश्यकता है। कृषि उत्पादों का निर्यात भारत सरकार की प्राथमिकताओं में है। केन्द्रीय मंत्री ने कहा कि उत्पादकता बढ़ाने के साथ ही उत्पादों के लिए बाजार उपलब्ध कराने हेतु प्रयास किए जाने चाहिए। उन्होंने कहा कि नई नई फसलों को विकसित किए जाने की आवश्यकता है। इससे उत्पादकता बढ़ेगी। उन्होंने अधिकारियों को निर्देश देते हुए कहा कि किसानों को इंश्योरेंस के प्रति जागरूक किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि हिमालयी राज्यों में छोटे छोटे किसानों की संख्या अधिक है। उनको ध्यान में रखते हुए योजनाओं को तैयार किया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि राज्यों में सिंचाई के दायरे को बढ़ाने के प्रयास किए जाएं। नए अध्यादेशों एवं फसल बीमा योजना का लाभ अधिक से अधिक किसानों को पहुंचे इसके प्रयास किए जाएं, ताकि हमारे किसान आत्मनिर्भर भारत बनाने में अपना योगदान दें सकें।

          उत्तराखण्ड के कृषि मंत्री श्री सुबोध उनियाल ने कहा कि राज्य में कृषि महिला आधारित है, इसलिए भारतीय कृषि अनुसंधान परिषद द्वारा वुमन फ्रेंडली खेती की ओर ध्यान दिया जाना चाहिए। उन्होंने कहा कि उत्तराखण्ड जैविक कृषि के क्षेत्र में अग्रणी राज्यों में शामिल है। ऑर्गेनिक फार्मिंग के लिए वनों के वेस्ट मटीरियल से खाद बनाने हेतु योजनाओं पर बल दिया जाना चाहिए। उन्होंने राज्य में जैविक उत्पादन को बढ़ावा देने हेतु सब्जी और फल फसलों में कीट नियंत्रण के लिए जैविक शोध कार्यक्रम चलाए जाने पर ध्यान देने की बात कही। उन्होंने राज्य के उत्पादों जैसे रेड राईस, राजमा, मंडुवा आदि की उन्नत किस्मों पर भी अनुसंधान किए जाने की आवश्यकता बताई।

     कृषि मंत्री श्री उनियाल ने पर्वतीय क्षेत्रों के लिए अच्छी गुणवत्ता वाले बीजों के साथ ही कम पानी में अधिक उत्पादन देने वाले बीजों पर भी रिसर्च किए जाने की आवश्यकता पर बल दिया। उन्होंने कहा कि राज्य के अन्तर्राष्ट्रीय बॉर्डर क्षेत्रों हेतु उचित जलवायु अनुसार फसलों पर अधिकाधिक शोध कराए जाएं ताकि सीमांत क्षेत्रों के किसानों की उत्पादन क्षमता बढ़े। इससे पलायन भी रोका जा सकेगा।

कृषि मंत्री श्री उनियाल ने कहा कि राज्य में नींबू वर्गीय फलों हेतु कल्मी पौध रोपण के लिए आईसीएआर एवं उद्यान विभाग उत्तराखण्ड द्वारा नींबू वर्गीय फलों के नेटवर्क परियोजना को लागू किए जाने की मांग की। उन्होंने राज्य में आलू उत्पादन की अपार सम्भावनाओं के दृष्टिगत केन्द्रीय आलू अनुसंधान संस्थान, शिमला हिमाचल प्रदेश की तर्ज पर उत्तराखण्ड राज्य में भी क्षेत्रीय अनुसंधान केन्द्र स्थापित करने की भी मांग की।

इस अवसर पर सचिव श्री आर. मीनाक्षी सुन्दरम एवं अन्य विभागीय वरिष्ठ अधिकारी भी उपस्थित थे।

कई ऐसे महत्वपूर्ण कार्यक्रम है जो बीस सूत्री कार्यक्रम के अन्तर्गत शामिल नहीं है – नरेश बंसल उपाध्यक्ष

देहरादून 30 जून, 2020 (सू.ब्यूरो) Himalayauk Newsportal
     श्री नरेश बंसल उपाध्यक्ष (कैबिनेट मंत्री दर्जा) राज्य स्तरीय बीस सूत्री कार्यक्रम एवं कार्यान्वयन समिति की अध्यक्षता में बीस सूत्री कार्यक्रम के अधिकारियों के साथ बैठक सम्पन्न की गयी।
      बैठक का मुख्य विषय बीस सूत्री कार्यक्रम में अन्य महत्वपूर्ण मदों को सम्मिलित कर बीस सूत्री कार्यक्रम को अधिक प्रभावशाली बनाये जाने से संबन्धित था। श्री बंसल ने कहा कि बीस सूत्री कार्यक्रम एक महत्वपूर्ण कार्यक्रम है जिसमें 25 मदों की रैंकिंग लगातार की जा रही है किन्तु अभी भी कई ऐसे महत्वपूर्ण कार्यक्रम है जो बीस सूत्री कार्यक्रम के अन्तर्गत शामिल नहीं है जिसके लिए बीस सूत्री कार्यक्रम द्वारा अन्य कई महत्वपूर्ण मदों को शामिल करते हुए लगभग 204 मदों/संकेतकों का फ्रेमवर्क बनाया है जो संबन्धित विभागों को अनुमोदन हेतु भेजा गया है। इसके साथ ही सभी जिलाधिकारियों से सुझाव हेतु भी प्रेषित किया गया है। श्री बंसल द्वारा सभी जनपदों के जिलाधिकारियों/मुख्य विकास अधिकारियों के साथ वीडियो कान्फ्रेंसिंग के माध्यम से बीस सूत्री कार्यक्रम की समीक्षा तथा पुनः संरचित राज्य स्तरीय बीस सूत्री कार्यक्रम के फ्रेमवर्क पर चर्चा किए जाने हेतु संबन्धित अधिकारियों को निर्देश भी दिए गए।
      बैठक में श्री सुशील कुमार निदेशक एवं विभागाध्यक्ष, बीस सूत्री कार्यक्रम, श्रीमती गीतांजली शर्मा गोयल, उप निदेशक बीस सूत्री कार्यक्रम तथा श्री जे0 सी0 चन्दोला, वरिष्ठ शोध अधिकारी, बीस सूत्री कार्यक्रम आदि उपस्थित थे।

 श्री नरेश बंसल उपाध्यक्ष (कैबिनेट मंत्री दर्जा) राज्य स्तरीय बीस सूत्री कार्यक्रम एवं कार्यान्वयन समिति की अध्यक्षता में बीस सूत्री कार्यक्रम के अधिकारियों के साथ बैठक सम्पन्न की गयी।
      बैठक का मुख्य विषय बीस सूत्री कार्यक्रम में अन्य महत्वपूर्ण मदों को सम्मिलित कर बीस सूत्री कार्यक्रम को अधिक प्रभावशाली बनाये जाने से संबन्धित था। श्री बंसल ने कहा कि बीस सूत्री कार्यक्रम एक महत्वपूर्ण कार्यक्रम है जिसमें 25 मदों की रैंकिंग लगातार की जा रही है किन्तु अभी भी कई ऐसे महत्वपूर्ण कार्यक्रम है जो बीस सूत्री कार्यक्रम के अन्तर्गत शामिल नहीं है जिसके लिए बीस सूत्री कार्यक्रम द्वारा अन्य कई महत्वपूर्ण मदों को शामिल करते हुए लगभग 204 मदों/संकेतकों का फ्रेमवर्क बनाया है जो संबन्धित विभागों को अनुमोदन हेतु भेजा गया है। इसके साथ ही सभी जिलाधिकारियों से सुझाव हेतु भी प्रेषित किया गया है। श्री बंसल द्वारा सभी जनपदों के जिलाधिकारियों/मुख्य विकास अधिकारियों के साथ वीडियो कान्फ्रेंसिंग के माध्यम से बीस सूत्री कार्यक्रम की समीक्षा तथा पुनः संरचित राज्य स्तरीय बीस सूत्री कार्यक्रम के फ्रेमवर्क पर चर्चा किए जाने हेतु संबन्धित अधिकारियों को निर्देश भी दिए गए।
      बैठक में श्री सुशील कुमार निदेशक एवं विभागाध्यक्ष, बीस सूत्री कार्यक्रम, श्रीमती गीतांजली शर्मा गोयल, उप निदेशक बीस सूत्री कार्यक्रम तथा श्री जे0 सी0 चन्दोला, वरिष्ठ शोध अधिकारी, बीस सूत्री कार्यक्रम आदि उपस्थित थे।

भारतीय जनता युवा मोर्चा द्वारा लगातार वर्चुअल रैलियों का दौर

देहरादून 30 जून, 2020 (सू.ब्यूरो) Himalayauk Newsportal  भाजपा युवा मोर्चा केंद्रीय अध्यक्ष पूनम महाजन व उच्च शिक्षा मंत्री धनसिंह रावत ने की युवामोर्चा की रैली में शिरकत।    भारतीय जनता युवा मोर्चा द्वारा लगातार वर्चुअल रैलियों का दौर चल रहा है। इसी क्रम में विशाल वर्चुअल रैली आज  दिनांक 30 जून को आरम्भ हुई। जिसमे पूरे प्रदेश से 12 लाख 37 हजार युवाओं ने विभिन्न स्थानों से फेसबुक में युवा मोर्चा के पेज ,ट्विटर,एलईडी के माध्यम से व लिंक के सोशल मीडिया के माध्यम से  प्रत्यक्ष व अप्रत्यक्ष रूप से प्रतिभाग किया।

इस दौरान उत्तराखंड के उच्च शिक्षा मंत्री धनसिंह रावत जी ने मुख्य अतिथि के तौर पर शिरकत की। इस दौरान उन्होंने उत्तराखंड सरकार की जनकल्याणकारी योजनाओं को प्रदेश के युवाओं तक पहुंचाया एवम कोरोना महामारी के दौरान पूरे प्रदेश में युवा मोर्चा द्वारा जितने भी समाज हित में कार्य किए गए, उनकी भूरी-भूरी प्रशंसा की.  उन्होंने युवामोर्चा के द्वारा वाल पेंटिंग,भोजन वितरण , कच्चा राशन वितरण, मास्क वितरण, रक्तदान शिविर आदि किये गए कार्यो कार्यों की काफी सराहना की एवं कहा कि युवामोर्चा ने विकास कार्यों में बहुत विशाल सहयोग किया है।

उन्होंने कहा की महामारी के दौरान कॉन्ग्रेस सिर्फ और सिर्फ झूठा दुष्प्रचार कर रही है जिसको लेकर युवा मोर्चा कार्यकर्ताओं को गांव-गांव में जाना होगा और आम जनता को जागरूक करते हुए बताना होगा कि कांग्रेस भाजपा द्वारा किए गए कार्यों में अड़ंगा लगाकर दुष्प्रचार कर रही है ।

इस दौरान उन्होंने बताया कि अब प्रदेश में युवाओं के पूर्ण विकास के लिए युवा आयोग का निर्माण करने की घोषणा भी मुख्यमंत्री जी द्वारा की जा चुकी है । अब युवाओं को अधिक रोजगार मिलेगा साथ ही प्रत्येक हाथ को काम मिले इसके लिए युवा मोर्चा को महत्वपूर्ण भूमिका निभानी होगी।

 इस अवसर पर माननीय  पूनम महाजन राष्ट्रीय अध्यक्ष भाजपा युवा मोर्चा ने मुख्य वक्ता के तौर पर शिरकत करते हुए मोदी सरकार के 5 साल व मोदी सरकार 2.0 के 1 साल की उपलब्धि युवाओं तक पहुचाई। उन्होंने कहा कि कोरोना महामारी के दौरान माननीय मोदी जी द्वारा इतना बड़ा भारी-भरकम पैकेज हमें दिया गया यह सिर्फ आत्म बल और इच्छाशक्ति का ही कमाल है जो देश की जनता के लिए किया गया इस दौरान उन्होंने तीव्र गति से चल रहे ऑल वेदर रोड पर ऋषिकेश कर्णप्रयाग रेलवे लाइन के कार्य एवं हवाई मार्ग की कनेक्टिविटी को देश के विभिन्न क्षेत्रों से होने पर उत्तराखंड सरकार के कार्य की जमकर सराहना की। उन्होंने कहा की माननीय प्रधानमंत्री मोदी जी ने देश के युवाओं के लिए, महिलाओं के लिए ,गरीब वर्ग के लिए ,मध्यम वर्ग के लिए अलग-अलग योजनाएं संचालित की है जिससे कि देश की प्रगति तीव्र गति से बढ़ेगी।

इस दौरान उत्तराखंड युवा मोर्चा के प्रदेश अध्यक्ष माननीय कुंदन लटवाल ने कहा कि कोरोना महामारी के समय भारतीय जनता पार्टी युवा मोर्चा का प्रत्येक कार्यकर्ता अपने तन मन धन के साथ जन सेवा में लगा हुआ है । इस महामारी के रुकने तक युवा मोर्चा का प्रत्येक सिपाही पीछे नहीं हटेगा।

श्री लटवाल ने कहा कि हर हाथ को काम मिले तो इसे देखते हुए युवा मोर्चा के प्रत्येक पदाधिकारी व कार्यकर्ता पूरे प्रदेशभर में सरकार की लाभकारी योजना का प्रचार और कार्य शासन- प्रशासन के माध्यम से चौदह के चौदह जिलाकेन्द्रों पर कर रहा हे व  साथ ही सरकार द्वारा चलाई गयी स्वरोजगार योजना को बाहर से आये प्रवासियों तक पहुचा रहा हे । जिससे पलायन कम होगा व स्थानीय युवा स्वरोजगार करते हुए प्रदेश को अपनी सेवा दे पाएंगे व रोजगार की ओर अग्रसित होंगे।उन्होंने इस दौरान प्रदेश के प्रत्येक युवा से प्रदेश के असहायों व गरीबों की सेवा के लिए आगे बढ़ कर उनकी मदद करने हेतु आवाहन किया।

 इस दौरान अन्य वक्ताओं में प्रदेश महामंत्री कुलदीप कुमार, उपाध्यक्ष कैलाश शर्मा व राष्ट्रीय सह मीडिया प्रभारी युवा मोर्चा नेहा जोशी ने भी अपने विचार व्यक्त किए। रैली का संयोजन सिद्धार्थ अग्रवाल ने किया।

कार्यक्रम का सफल संचालन प्रदेश महामंत्री श्री गुंजन सुखीजा द्वारा सफलता के साथ किया गया। रैली का संयोजन सिद्धार्थ अग्रवाल ने किया। वर्चुअल रैली में राष्ट्रीय सह मीडिया प्रभारी नेहा जोशी,प्रदेश प्रवक्ता नवीन ठाकुर , मीडिया प्रमुख आशुतोष ममगाईं, प्रदेश मंत्री सूरज घिल्डियाल, नवनीत राजपूत प्रदेश उपाध्यक्ष रंजन बरगली,सचिन शाह ,सचिन गुप्ता, किशोर भट्ट ,निर्मल मेहरा,भावना डोभाल,मीडिया प्रमुख आशुतोष ममगाईं,मनोज पटवाल ,करुण दत्ता आईटी संयोजक अमित नारंग,  प्रदेश मंत्री अंशुल चावला ,जिलाध्यक्ष विपुल मेंदूली, श्याम पंत ,नितिन कार्की,परमवीर पवार ,मोहित पाठक,मनोज औली, शुभम चंद,देवेंद्र नेगी देवा, विकास डिमरी,सुनील देवासीश आदि के साथ समस्त पदाधिकारी व  युवा उपस्थित रहे।

चमोली जनपद में अभी तक कुल 2454 लोगों की सैंपल रिपोर्ट नेगेटिव

जनपद चमोली।       चमोली जनपद में अभी तक कुल 2454 लोगों की सैंपल रिपोर्ट नेगेटिव आई है। वहीं जनपद में 73 कोरोना संक्रमित मरीज पाॅजिटिव है। जिसमें से 59 लोग स्वस्थ होकर अस्पताल से घर लौट चुके है। जबकि 112 लोगों की सैंपल रिर्पोट आनी बाकी है।
         कोविड संक्रमण से बचाव के दृष्टिगत बाहरी प्रदेशों से आए 87 प्रवासी अभी फेसलिटी क्वारेन्टाइन में चल रहे है। जिला प्रशासन ने इन प्रवासियों को गौचर, कर्णप्रयाग, मंडल, गैरसैण, ग्वालदम, भराडीसैंण, पीपलकोटी इत्यादि स्थानों पर फेसलिटी क्वारंन्टाइन किया है। मेडिकल टीम फेसलिटी क्वारंन्टीन में ठहराए गए लोगों की रेग्यूलर जाॅच कर रही है।
इसके अलावा 5366 प्रवासी अभी होम क्वारंन्टीन में चल रहे है। होम क्वारंन्टीन लोगों के स्वास्थ्य परीक्षण के लिए गठित 23 मोबाइल चिकित्सा टीमों ने सोमवार को 103 गांवों में घर-घर जाकर 618 क्वारेंटीन व्यक्तियों की स्वास्थ्य जाॅच की। जिले के विभिन्न क्षेत्रों से कोरोना संक्रमण की जानकारी जुटाने के लिए 18 ब्लाक एवं सिटी रिसपोंस टीम निरंतर कार्य कर रही है।
जिलाधिकारी स्वाति एस भदौरिया सभी प्रवासियों को क्वारेंटाइन नियमों का पूरी तरह से पालन सुनिश्चित करने के निर्देश दिए है। वही शासकीय कार्मिकों के माध्यम से क्वारेंटीन लोगों पर निरतंर निगरानी रखते हुए नियमों का उल्लंघन करने वाले व्यक्तियों के विरूद्व सख्त कार्यवाही भी की जा रही है।
जिले में लाॅकडाउन का उल्लंघन करने पर डीएम एक्ट के तहत 35 ए फआईआर, महामारी अधिनियम के तहत 4, सोशल मीडिया पर अफवाह फैलाने पर 02, सीआरपीसी-151 के तहत 66, डीएम एक्ट के तहत गिरफ्तारियां 60, महामारी अधिनियम के तहत गिरफ्तरियां 8, सोशल मीडिया पर अफवाह फैलाने पर गिरफ्तारियां 1, पुलिस एक्ट के तहत 1176 लोगों के खिलाफ मामले दर्ज किए जा चुके है। इसके आलावा 1500 चालान और 89 वाहनों को सीज किया गया है।
       जिले में आवश्यक सेवाओं के तहत खाद्यन्न की आपूर्ति सुचारू बनी हुई है। स्टाॅक में गेहूं 6866.80 कुन्तल, चावल 11550.57 कुन्तल, मसूर दाल 373.42 कुन्तल, चना दाल 210.62 कुन्तल, चीनी 87.99 कुन्तल, पीएम गरीब कल्याण चावल 611.89 कुन्तल व दाल 331.04 कुन्तल तथा घरेलू गैस के 3901 गैस सिलेण्डर अवशेष है।

प्रशासनिक अधिकारी के पद पर कार्यरत हरेन्द्र सिंह के सेवानिवृत्त होने पर विदाई

चमोली 30 जून ,2020(सू0वि0)   जिला निर्वाचन कार्यालय चमोली में प्रशासनिक अधिकारी के पद पर कार्यरत हरेन्द्र सिंह के सेवानिवृत्त होने पर विदाई दी गई। अपर जिलाधिकारी/उप जिला निर्वाचन अधिकारी मोहन सिंह बर्निया, सहायक जिला निर्वाचन अधिकारी बी0एस0 रावत, जिला पूर्ति अधिकारी के0एल0 शाह, नायब तहसीलदार गैरसैंण, वरिष्ट प्रशानिक अधिकारी सहित जिला निर्वाचन के सभी अधिकारी व कर्मचारियों ने उनके अज्जवल भविष्य की कामना करते हुए विदाई दी।

श्री हरेन्द्र सिंह 28 जनवरी 1998 में निर्वाचन कार्यलय में नियुक्त हुए थे। इन्होंने अपने सेवाकाल में रूद्रप्रयाग और चमोली जनपद के विभिन्न जिला कार्यालयों में अपनी सेवाएं दी। सेवा के दौरान इनका  अपने अधिकारी कर्मचारियों के साथ बहुत ही सरल व्यवहार रहा। हरेन्द्र सिंह 30 जून को अपनी अधिवर्षता उम्र पूर्ण करने के बाद सेवाविृत्त हुए।

‘‘सार्वजनिक और निजी भूमि पर अवैध कब्जों पर लगाम लगायें’’   जिलाधिकारी देहरादून

देहरादून दिनांक 30 जून 2020 (जि.सू.का),  ‘‘सार्वजनिक और निजी भूमि पर अवैध कब्जों पर लगाम लगायें’’ यह निर्देश जिलाधिकारी डाॅ आशीष कुमार श्रीवास्तव ने सभी क्षेत्रों के उप जिलाधिकारियों तथा सम्बन्धित विभागीय अधिकारियों को दिये। बंजारावाला कारगी रोड़ में जमीन पर अनाधिकृत हक जताने , हरिद्वार बाईपास रोड ब्राहम्णवाला में राष्ट्रीय राजमार्ग की भूमि पर अतिक्रमण कर अवैध ट्यूबैल नलकूप निर्माण हटाने, दून विहार जाखन में सरकारी पार्क पर अवैध निर्माण कार्य पर रोक लगाने, रानीपोखरी निवासी द्वारा अनाधिकृत रूप से जमीन का विक्रय करने, माण्डूवाला परगना पछवादून तहसील विकासनगर में ग्राम समाज व रिजर्व फारेस्ट भूमि पर अवैध कब्जा करने से सम्बन्धित भूमि विवाद और अवैध कब्जो से सम्बन्धित अधिकतम  प्रकरण जनसुनवाई में प्राप्त हुए। जिस पर जिलाधिकारी ने सम्बन्धित अधिकारियों को दूरभाष पर वार्ता करते हुए समयसीमा के भीतर अवैध कब्जे हटवाने तथा सम्बन्धित प्रकरणों पर उचित कार्यवाही करने के निर्देश दिये। राजीव नगर क्षेत्र में लोगों द्वारा जिलाधिकारी के समक्ष अपनी बात रखी कि राजीवनगर धर्मपुर में किन्नरों (अन्य) द्वारा आये दिन बधाई संन्देश के बहाने बलपूूर्वक  और मनमाने ढंग से धनराशि वसूली की जाती है, जिससे लोगों का जीना हराम कर हो रखा है। प्रतीतनगर पूर्वादून तहसील ऋषिकेश में एक आवेदक ने जमीन की पैमाईश करवाने, 15 रेस्ट कैम्प मद्रासी कालोनी देहरादून के लोगों ने आसपास दुकानदारों द्वारा 1 रू0 के सिक्के ना लिये जाने, के चलते कार्यवाही की मांग की। प्रदूषण जांच केन्द्र की जांच कराने, कृष्णा विहार लोअर नेहरूग्राम में बरसाती पानी की सुगम निकासी करवाने की शिकायतें प्राप्त हुई।

इसके अतिरिक्त जनसुनवाई में तांत्रिक के बहकावे में आकर पैसों की ठगी किये जाने, जमीन पर निर्माण कार्य रूकवाने के न्यायालय आदेश का अनुपालन करवाने, चकचैबे कल्लूवाला को विकासखण्ड डोईवाला से विकासखण्ड रायपुर के परिवार रजिस्टर में नाम अंकन करवाने से सम्बन्धित आवेदन पत्र प्राप्त हुए। उपरोक्त शिकायतों के क्रम में जिलाधिकारी ने सम्बन्धित अधिकारियों को संज्ञान लेते हुए शिकायतों का निस्तारण के निर्देश दिये। इस तरह जनसुनवाई में कुल 25 पंजीकरण  के सापेक्ष 19 फरियादी उपस्थित हुए जिन्होंने अपने-अपने शिकायती पत्र जिलाधिकारी के समक्ष प्रस्तुत किये।
जिलाधिकारी की अनुपस्थिति में अपर जिलाधिकारी प्रशासन द्वारा भी लोगों की शिकायतों को सुना गया और समबन्धित विभागों को समस्या के निस्तारण हेतु आवेदनों को अग्रसारित किया गया।

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